राजस्थान का ऐसा मंदिर जहां बुलेट की होती है पूजा, दिलचस्प है कहानी  

भारत में गाड़ी को लेकर लोगों की अपनी अलग-अलग मान्यताएं हैं. कुछ लोग तो नई कार या मोटरसाइकिल खरीदने पर सबसे पहले मंंदिर जाते हैं.

कई लोग ऐसे भी हैं, जिनकी गाड़ियों की डैशबोर्ड पर देवताओं की तस्वीरें लगी होती हैं तो कुछ अपनी बाइक पर चुन्नी बांधते हैं.

लेकिन क्या आपने कभी बुलैट मोटरसाइकिल के मंदिर के बारे में सुना है? ये पढ़कर शायद आप भी हैरान रह जाएं लेकिन राजस्थान में ऐसा ही एक मंदिर है.

पाली-जोधपुर हाइवे पर चोटिला गांव में सड़क किनारे एक पेड़ के पास पत्थर का चबूतरा बना है. यहीं पर बुलैट मोटरसाइकिल खड़ी है. 

दरअसल, राजस्थान के इस बुलेट मंदिर की कहानी बड़ी ही दिलचस्प होने के साथ-साथ दुखभरी भी है.

दरअसल,सन् 1991 में हुए एक जानलेवा एक्सीडेंट में राजस्थान के पाली जिले के ओम सिंह राठौड़ की मौत हो गई थी.

जहां ओम का एक्सीडेंट हुआ था, वहां उनका छोटा सा मंदिर है. यहां उनकी तस्वीर के साथ बुलेट भी रखी गई है.

माना जाता है कि आज भी उनकी आत्मालोगों को हाइवे पर होने वाले एक्सीडेंट से बचाती है.

मंदिर के आसपास के गांव वाले तो ओम सिंह राठौड़ को अपना भगवान ही समझते हैं. सिर्फ यहीं के लोग ही नहीं बल्कि राजस्थान के दूर-दराज के इलाको से भी लोग यहां आकर बुलेट की पूजा करते हैं.