चीन का नया कारनामा, अब चांद से 60 करोड़ कैमरों से करेगा नागरिकों की जासूसी

चीन अपने नागरिकों की निगरानी के लिए ऐसा काम करने जा रहा है, जो इससे पहले कभी किसी ने नहीं किया. 

इससे पहले भी चीन अपने लोगों पर नजर रखता था लेकिन अब उसने इसका दायरा बढ़ा दिया है. चीन के प्रोग्राम का नाम स्काईनेट है.

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, सर्विलांस का ये मून मिशन चीन की सत्ता को अगले पचास साल तक बनाए रखने के लिए किया जा रहा है. 

मिली जानकारी के अनुसार, चीन के नागरिकों की अब चांद से जासूसी की जाएगी. इसके साथ ही ड्रैगन अपने दुश्मन देशों पर भी यहां से नजर रख सकता है. 

चीन की राष्ट्रीय निगरानी प्रणाली “स्काईनेट प्रोजेक्ट” के तहत देशभर में सार्वजनिक स्थानों पर 20 करोड़ से अधिक कैमरे तैनात हैं, जोकि ‘लाइव निगरानी और रिकॉर्डिंग’ करते हैं. 

यह दुनिया का सबसे बड़ा निगरानी नेटवर्क है, इसे “चीन की रक्षा करने वाली आंखें” कहा जाता है. 

चीन ने इस प्रोग्राम का नाम स्काईनेट दिया है और यह एआई-संचालित चिप्स से लैस होंगे. स्काईनेट में 60 करोड़ से अधिक कैमरों को यूज किया जाएगा. 

बताया जा रहा है कि हर व्यस्क चीनी नागरिक की निगरानी के लिए कम से कम दो कैमरे होंगे और यह देश के हर कोने को कवर करेगा. 

ये कैमरे (जिनमें से प्रत्येक का वजन केवल 100 ग्राम) एआई-संचालित चिप्स से लैस होंगे जो “संदिग्ध लक्ष्यों की स्वतंत्र रूप से पहचान करेंगे और उसको टॉरगेट करेंगे. 

बताया गया है कि कुछ भी संदिग्ध होने पर सिस्टम “तुरंत अलार्म सिग्नल भेजा और उचित प्रतिक्रिया उपाय शुरू करेगा. इसके पास रिमोट सेंसिंग, नेविगेशन और संचार के लिए अपने स्वयं के उपग्रह भी होंगे.

चांद पर चीन का बेस डिज़नीलैंड से भी बड़ा है, जोकि 3.7 मील में फैला है और इसमें एक कमांड सेंटर, एक पावर स्टेशन, एक संचार केंद्र, वैज्ञानिक सुविधाएं और रोबोटों का एक बेड़ा शामिल है.