रासायनिक हथियारों का ऐसा परीक्षण, जिसने छीन लीं 6 हजार जिंदगियां

अमेरिका के पश्चिम में बसा यूटा राज्य New York और California जैसे राज्यों की तरह चर्चित नहीं है लेकिन अपने भीतर कई खतरनाक रहस्य छिपाए हुए है.

इन्हीं में से एक रहस्य है जब 17 मार्च, 1968 को 6 हजार से अधिक जिंदगियां चली गईं, जिसकी बाद में जब सच्चाई सामने आई तो असलियत ने सबके होश उड़ा दिए.

दरअसल, 17 मार्च, 1968 की आधी रात अमेरिका के Utah राज्य में एक बड़ी त्रासदी घटी जब स्कल वैली के पास 6,000 से अधिक भेड़ें अचानक मर गईं.

यह घटना डगवे प्रूविंग ग्राउंड नामक सैन्य केंद्र के पास हुई, जो 800,000 एकड़ में फैला एक सैन्य परीक्षण स्थल था. यहां अमेरिकी सेना रासायनिक हथियारों के परीक्षण करती थी.

उस समय VX नामक अत्यंत घातक रासायनिक हथियार का परीक्षण किया जा रहा था.

VX एक नर्व एजेंट था, जो शरीर की नसों को प्रभावित करके मांसपेशियों को जकड़ देता है और सांस लेने की प्रक्रिया बंद कर देता है.

17 मार्च 1968 को परीक्षण के दौरान एक विमान से इस रासायनिक पदार्थ का छिड़काव किया जा रहा था.

लेकिन विमान के स्प्रे नोजल में खराबी के कारण VX लगातार रिसने लगा और तेज हवाओं के चलते यह जहर स्कल वैली की ओर बह गया.

अगले दिन वहां चरने वाली हजारों भेड़ें मरने लगीं. अनुमानित तौर पर 3,500 से 6,400 भेड़ें इस जहरीले पदार्थ के संपर्क में आईं और मारी गईं.

हालांकि सेना ने शुरू में इस घटना से अपनी भूमिका से इनकार किया, लेकिन बाद में दबाव बढ़ने पर मामला सामने आया.

वैज्ञानिकों और मीडिया ने जांच की, जिससे यह पता चला कि डगवे प्रूविंग ग्राउंड रासायनिक और जैविक हथियारों के परीक्षण का प्रमुख केंद्र बन चुका था.

30 साल बाद, 1998 में, एक सरकारी रिपोर्ट ने पुष्टि की कि VX का स्तर भेड़ों की मौत का कारण था.