मोहिनी एकादशी रविवार 19 मई को पड़ रही है. एकादशी व्रत-नियम के मुताबिक, इस दिन कुछ कार्यों को करने से बचना चाहिए.
मान्यतानुसार, एकादशी के व्रत में कुछ नियमों का पालन करने से भगवान विष्णु समेत मां लक्ष्मी की कृपा बनी रहती है.
वहीं, जो जो इस दिन व्रत के नियमों का उल्लंघन करते हैं, उन्हें जीवन में परेशानियों का सामना करना पड़ता है.
मोहिनी एकादशी के दिन भात (पका हुआ चावल) का सेवन नहीं करना चाहिए. मान्यता है कि इस दिन चावल का सेवन करने से भगवान श्रीहरि नाराज हो जाते हैं.
मोहिनी एकादशी के दिन घर-परिवार के किसी भी सदस्य को आपस में लड़ना-झगड़ना नहीं चाहिए. इसके अलावा इस दिन झूठ भी नहीं बोलना चाहिए.
मोहिनी एकादशी के दिन शराब और नॉनवेज का सेवन नहीं करना चाहिए. इतना ही नहीं, इस दिन तो लहलुन-प्याज भी नहीं खाना चाहिए.
मोहिनी एकादशी के दिन गंदा या बिना धुले कपड़े नहीं पहनने चाहिए. इसके अलावा इस दिन काले रंग के वस्त्र को पहनने से भी बचना चाहिए.
चूंकि, मोहिनी एकादशी रविवार को पड़ रही है इसलिए इस दिन तुलसी के पत्तों को तोड़ने से बचना चाहिए. मान्यता है कि एकादशी के दिन मां लक्ष्मी भगवान विष्णु के लिए निर्जला व्रत रखती हैं.
मोहिनी एकादशी के दिन किसी को भी अपशब्द या कड़वे वचन बोलने से परहेज करना चाहिए. ऐसा करने से व्रत-पूजा का शुभ फल प्राप्त नहीं होता है.
एकादशी के दिन अपने आचरण और व्यवहार को शालीन रखना चाहिए. इस दिन ऐसा कुछ भी ना करें जिससे कि दूसरे को चोट पहुंचे. इसके अलावा मोहिनी एकदशी के दिन भूल से भी शारीरिक संबंध ना बनाएं.