इस देश में फुटबॉल मैचों के दौरान बढ़ जाती है घरेलू हिंसा, जानें

फुटबॉल दुनियाभर में करोड़ों लोगों के लिए एक जुनून की तरह है.  इंग्लैंड में भी फुटबॉल टूर्नामेंट के दौरान फैंस का उत्साह चरम पर होता है.

फैंस टीवी स्क्रीन से चिपके रहते हैं. घर और पबों में पार्टियां होती है. हालांकि, इस खुशी के पीछे घरेलू हिंसा की एक कड़वी सच्चाई भी छिपी है.

इंग्लैंड के नेशनल सेंटर फॉर डोमेस्टिक वॉयलेंस की ओर से किए गए हालिया रिसर्च के मुताबिक, इंग्लैंड में की नेशनल टीम जब मैच हार जाती है, तो घरेलू हिंसा 38 प्रतिशत तक बढ़ जाती है.

इतना ही नहीं टीम के मैच जीतने या ड्रॉ होने की स्थिति में भी 26 प्रतिशत तक घरेलू हिंसा बढ़ जाती है. वहीं मैच के अगले दिन भी 11 प्रतिशत तक हिंसा में बढ़ोतरी होती है.

घरेलू हिंसा का सबसे ज्यादा शिकार पत्नियां और गर्लफ्रेंड होती हैं. हिंसा बढ़ने का सबसे बड़ा कारण अत्यधिक अल्कोहल का सेवन है. बता दें कि फुटबॉल मैच के दौरान फैंस अत्यधिक अल्कोहल का सेवन करते हैं, जिससे हिंसा बढ़ती है.

हिंसा का दूसरा कारण भावनात्मक तनाव भी है. टीम के मैच हारने या जीतने की स्थिति में फैंस की निराशा या खुशी दोनों ही भावनात्मक तनाव को बढ़ा देती है, जो आगे हिंसा का कारण बनती है.

हिंसा बढ़ने का तीसरा कारण टीम से ज्यादा अपेक्षाए करना भी है. टीम के मैच हारने पर फैंस अपना गुस्सा अपने घरों में निकालते हैं. फैंस तनाव को नियंत्रित नहीं कर पाते हैं. जिससे हिंसा बढ़ती है.

टूर्नामेंट के दौरान बढ़ते हिंसा को रोकने को लेकर प्रशासन के अलावा कई गैर सरकारी संगठन भी लगे हुए हैं. इसको लेकर जागरूकता अभियान भी चलाया जा रहा है.