'चिकन' के शौकीनों के लिए बुरी खबर, रिपोर्ट में हुआ बड़ा खुलासा
मुर्गी पालन के बिजनेस से जुड़ी एक बड़ी कंपनी इस तरह के दवाओं का इस्तेमाल कर रही है जो इंसानों के लिए खतरनाक है.
वेंकीस नाम की कंपनी चूजों के लिए खाना और उसका तेजी से विकास हो इसके लिए प्रोडक्ट बनाती है.
इस तरह से प्रोडक्ट्स को ग्रोथ प्रमोटर कहते जिसके इस्तेमाल से चूजे जल्दी से बड़े हो जाते हैं.
द ब्यूरो ऑफ इन्वेस्टिगेटिव जर्नलिज्म की एक रिपोर्ट के मुताबिक Venky's ऐसे एंटीबायटिक्स की मार्केटिंग कर रही है जो काफी खतरनाक मानी जाती हैं.
कंपनी पोल्ट्री प्रोडक्शन में तेजी लाने के लिए कई सारे ऐसे प्रोडक्ट्स बेच रही है जिसमें ऐसी दवाएं मौजूद हैं जो मानव स्वास्थ्य के लिए घातक हैं.
कई सारी महत्वपूर्ण एंटीबायटिक्स को प्रीवेंटेटिव यूज के तौर पर बेचा जा रहा है. प्रीवेंटेटिव यूज यानी किसी बीमारी के होने की आशंका से बचाव के लिए इस्तेमाल होने वाली दवा.
इस प्रैक्टिस को लेकर विवाद भी है क्योंकि इसमें बीमारी होने की आशंका को कम करने के लिए एक दिन के स्वस्थ पक्षियों को भी डोज दिया जाता है.
जो एंटीबायटिक दवाएं चूजों को दी जा रही हैं वो इंसान के स्वास्थ्य के लिए काफी खतरनाक मानी जाती हैं.
दक्षिण तेलंगाना की कम से कम दो पोल्ट्री फार्म्स में इस तरह की दवाओं के इस्तेमाल की खबर सामने आई है.
इसमें से एक प्रीवेंटेटिव यूज के लिए था, और इसके लिए Venky's की वेबसाइट ने रिकमंड किया था.
चूजों का विकास तेज करने के लिए एंटीबायटिक्स का इस्तेमाल यूरोपियन यूनियन के देशों और अमेरिका में बैन है.
प्रीवेंटेटिव यूज कुछ अपवादों को छोड़कर यूरोपिय यूनियन के देशों में पूरी तरह से बैन है.
WHO ने भी चूजों का तेजी से विकास करने या प्रीटेंटिव यूज में एंटीबायिक्स का इस्तेमाल करने का विरोध किया है.
ऐसा इसलिए क्योंकि ये दवाएं, उन दवाओं के प्रभाव को कम कर सकती हैं जो इंसानों में इंफेक्शन फैल जाने के बाद दी जाती हैं.