क्या आप भी प्लेन में अपना फोन फ्लाइट मोड करते हैं? जानें ऐसा नहीं करने से क्या होगा
आज के दौर में हम टेक्नोल़ॉजी में काफी एडवांस हो चुके हैं, लेकिन आज भी फ्लाइट में वही 60 साल पुरानी रेडियो की व्यवस्था लागू है.
अगर आप फ्लाइट से ट्रैवल कर रहे हैं तो यह सबसे जरूरी है कि आपकी सारी इलेक्ट्रॉनिक डिवाइसेस बंद होनी चाहिए.
ऐसी तमाम खबर सामने आई हैं, जिनमें पैसेंजर ने इन नियमों को मानने से इनकार कर दिया और फोन चलाते रहे.
अगर आप केबिन क्रू के इन नियमों का पालन नहीं करते हैं तो एयरलाइंस आपके खिलाफ सख्त नियम अपना सकते हैं.
इस तरह के केस में आपको फ्लाइट से उतार दिया जाएगा. इसे सुरक्षा प्रोटोकॉल का उल्लंघन माना जाता है.
अगर आप उड़ती फ्लाइट में फोन चलाते रहते हैं तो प्लेन को बीच में लैंड करा कर आपको उतारा जा सकता है. इसके अलावा आपको पुलिस को सौंपा जा सकता है.
इन इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस से सिग्नल निकलते हैं, इससे फ्लाइट का जो कम्यूनिकेशन सिस्टम है उस पर इसका प्रभाव पड़ सकता है.
सेल्युलर कनेक्शन वाले डिवाइस रेडियों वेव्स के साथ इलेक्टॉमैग्नेटिक (EM) वेव्स पैदा करते हैं. इससे फ्लाइट को सिग्नल मिलने में दिक्कत का सामना करना पड़ता है.
इसलिए एयरलाइंस द्वारा इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस को बंद करने और फोन को फ्लाइट मोड में रखने के लिए कहा जाता है.