क्या आपको मालूम मुख्यमंत्री चुनने के लिए क्यों होती है विधायक दल की बैठक?

दिल्ली विधानसभा चुनाव 2025 में बीजेपी ने ऐतिहासिक जीत हासिल की है. 70 विधानसभा वाले दिल्ली में बीजेपी ने 48 सीटों पर जीत दर्ज की है.

वहीं आम आदमी पार्टी के खाते में 22 सीट गई है. हालांकि कांग्रेस समेत बाकी किसी भी दल का खाता तक नहीं खुला है.

बीजेपी की जीत के बाद से मुख्यमंत्री की रेस में अलग-अलग नेताओं के नामों की चर्चा हो रही है, लेकिन बीजेपी हाईकमान की तरफ से अभी तक किसी भी नाम की घोषणा नहीं हुई है.

हालांकि ये लगभग तय हो चुका है कि 20 फरवरी को दिल्ली के नए सीएम का शपथ ग्रहण समारोह होना है.

अब सवाल ये है कि जब विधायक दल की बैठक होती है, तो उस समय मुख्यमंत्री के नाम का चयन कैसे होता है.

आज हम आपको इससे जुड़ा सारा प्रोसेस बताएंगे. जानकारी के मुताबिक जब विधायक दलों की बैठक बुलाई जाती है, तो उसमें राज्य के वरिष्ठ नेता और सांसद भी मौजूद रहते हैं.

अक्सर विधायकों दलों की बैठक की अध्यक्षता पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष करते हैं. इस दौरान प्रदेशअध्यक्ष मुख्यमंत्री के नामों की घोषणा करते हैं.

जिसके बाद सभी विधायक उस नाम पर अपनी सहमति और असहमति दर्ज करते हैं. अगर पार्टी की तरफ से प्रस्तावित नाम पर सभी विधायक हामी भर देते हैं, तो उस नाम को फाइनल कर दिया जाता है.

जिसके बाद पार्टी की तरफ से उस नाम को मीडिया और प्रदेश की जनता के सामने सार्वजनिक कर दिया जाता है. वहीं अगर आधे से ज्यादा विधायक नाम पर सहमति नहीं देते हैं, तो फिर पार्टी दूसरे नाम का प्रस्ताव रखती है.