देश का इकलौता ऐसा मंदिर, जहां पत्नी संग होती है बजरंगबली की पूजा, जानें नाम
हनुमान जी को हम सभी एक बाल ब्रह्मचारी, वैरागी, और रामभक्त के रूप में जानते हैं. उनकी छवि एक ऐसे वीर की है, जो आजन्म अविवाहित रहे.
लेकिन क्या हो अगर हम कहें कि देश में एक ऐसा मंदिर है जहां हनुमान जी की पत्नी के साथ पूजा होती है? चलिए आपको बताते हैं भारत के उस रहस्यमयी और अविश्वसनीय स्थान की ओर.
तेलंगाना के खम्मम जिले के एलंदु गांव में स्थित है; श्री सुवर्चला सहिता हनुमान मंदिर.
यह मंदिर न केवल दक्षिण भारत, बल्कि पूरे देश में इकलौता है जहां हनुमान जी के साथ उनकी पत्नी देवी सुवर्चला की पूजा होती है.
मंदिर का निर्माण वर्ष 2006 में हुआ, लेकिन इसकी मान्यता सदियों पुरानी कथा पर आधारित है.
यह कोई प्रेमकथा नहीं थी, न ही राजनैतिक गठबंधन. ये विवाह था ज्ञान की पूर्णता के लिए. हनुमान जी ने सूर्य देव को अपना गुरु माना और उनकी 9 दिव्य विद्याओं को सीखना चाहा.
परंतु समस्या यह थी कि उन 9 में से 4 विद्याएं केवल विवाहित शिष्यों को ही सिखाई जा सकती थीं. और हनुमान जी तो ब्रह्मचारी थे! अब क्या किया जाए?
हनुमान जी पहले तो टालते रहे, लेकिन ज्ञान की प्यास इतनी प्रबल थी कि अंततः उन्होंने सूर्य देव की पुत्री सुवर्चला से विवाह के लिए हाँ कर दी.
हनुमान जी ने विवाह से पहले ही स्पष्ट कर दिया था, "मैं विवाह कर तो लूंगा, पर ब्रह्मचर्य नहीं त्यागूंगा."
सूर्य देव ने सहमति दी और हनुमान जी व सुवर्चला देवी का पवित्र विवाह हुआ. विवाह पूर्ण होते ही, दोनों ने अपने-अपने तप पथ की ओर वापसी की.
मान्यता है कि जो भी भक्त इस मंदिर में हनुमान जी और देवी सुवर्चला की संयुक्त पूजा करता है, उसकी विवाह बाधाएं, रोजगार की रुकावटें, और मनोकामनाएं स्वतः समाप्त हो जाती हैं.
यह मंदिर उन लोगों के लिए आस्था का केंद्र बन चुका है, जो जीवन में स्थिरता, सफलता और दिव्यता चाहते हैं.