राक्षस खोजने के लिए झील में डाला था कैमरा, 55 साल बाद निकाला बाहर, देखें Photos
आपने दादी-नानी की कहानियों में दैत्यों और राक्षसों के बारे में सुना होगा. वो राक्षस जो पानी के नीचे रहते हैं.
ब्रिटेन के स्कॉटलैंड में भी सदियों से लोग ऐसे ही एक राक्षस की कहानी सुनते आ रहे थे, जिसे ‘नेसी’ नाम दिया गया था. माना जाता है कि ये राक्षस ‘नेस’ नाम की एक झील के अंदर आज भी रहता है.
इसी की खोज में 55 साल पहले वैज्ञानिकों ने एक शोध किया. उन्होंने कुछ कैमरों को झील की गहराई में डाला. अब जाकर ये कैमरा बाहर निकला है.
कैमरे ने ऐसी तस्वीरें रिकॉर्ड की, जिसे देखकर वैज्ञानिक भी चौंक गए. मीडिया रिपोर्ट के अनुसार 1970 के दशक में लॉक नेस इन्वेस्टिगेशन ब्यूरो की टीम ने लॉक झील के अंदर 6 कैमरे डाले गए थे.
ये टीम 1960 में गठित की गई थी, जिनकी जिम्मेदारी थी झील के अंदर मौजूद दैत्य का पता लगाना.
टीम ने झील के अलग-अलग हिस्सों में 6 कैमरे लगाए, जिसमें से तीन तो झील में आए तूफान की वजह से खो गए. हाल ही में एक रोबोट पनडुब्बी ने बचे हुए कैमरों में से एक को झील की गहराई में से खोज निकाला.
ये कैमरा 591 फीट गहराई में था. कैमरे को उसी वक्त कांच के एक कंटेनर में सील कर अंदर छोड़ा गया था. ये एक क्लॉकवर्क इंस्टामैटिक कैमरा था जिसमें इनबिल्ट क्यूब फ्लैश था.
एक बार में 4 तस्वीरें इससे ली जा सकती थीं. लॉक नेस प्रोजेक्ट से जुड़े एड्रियान शाइन ने इस कैमरे की पहचान की. वो इस बात से चौंके कि कंटेनर में कैमरा इतने सालों बाद भी सुरक्षित था.
जो तस्वीरें सामने आई हैं, वो चौंकाने वाली हैं. उनमें कोई राक्षस या दैत्य नहीं नजर आया, मगर झील के नीचे का पानी दिखा जो धुंधला, मटमैला था. वो काफी डरावना महसूस हो रहा था.
ब्रिटेन के नेशनल ओशनोग्राफी सेंटर मैट किंग्सलैंड का कहना है कि ये झील रोबोट पनडुब्बियों के टेस्टिंग के लिए सबसे अच्छी लोकेशन मानी जाती है, पर उन्हें नहीं लगा था कि ऐसा कुछ भी उन्हें देखने को मिलेगा.