Balakot Airstrike के वो 5 बड़े सच जो पाकिस्तान कभी मानता ही नहीं, जानें क्यों
14 फरवरी 2019 को पाकिस्तान में मौजूद जैश-ए-मोहम्मद के आतंकियों ने पुलवामा में CRPF के काफिले पर आत्मघाती हमला किया.
आतंकी सोचा रहा होगा कि इसके बाद भारतीय सेना कोई एक्शन नहीं लेगी. या छोटा-मोटा एक्शन लेगी.
लेकिन सिर्फ 12 दिन बाद 26 फरवरी 2019 को भारतीय वायुसेना ने आतंकियों के ठिकानों पर मौत बरसाई.
ऐसे में अब आइए जानते हैं उस पांच सच के बारे में जो पाकिस्तान कभी मानता ही नहीं है.
बालाकोट एयरस्ट्राइक से पहले इस बात की पुष्टि NTRO ने की थी कि हमले वाली जगह पर करीब 300 एक्टिव मोबाइल है. हालांकि पाकिस्तान ने इस बात को कभी सच नहीं माना.
26 फरवरी 2019 मिराज 2000 ने ग्वालियर से उड़ान भरी तो आगरा, बरेली के एयरबेस भी अलर्ट हो गए. इस दौरान पाकिस्तानी एयर डिफेंस सिस्टम पर निगाह रखने को कहा गया.
उस समय पाकिस्तान के प्रधानमंत्री इमरान खान थे. सर्जिकल स्ट्राइक हो चुकी थी. अब उन्होंने एयरस्ट्राइक की खबर सुनी. इमरान खान भारत के हमले और युद्ध के डर से कांप रहे थे.
इसके बाद विंग कमांडर अभिनंदन वर्धमान पाकिस्तान में क्रैश लैंड हुए. उन्हें पाकिस्तानी सेना ने पकड़ा. भारत ने कहा कि हमारे जवान को छोड़ो, नहीं तो 9 मिसाइलें तैनात हैं तुम्हारी तरफ.
पाकिस्तान में आतंकी नहीं थे, यह बात दुनिया को बताने के लिए रात भर बालाकोट में साफ-सफाई करवाई गई. इलाके से मारे गए आतंकियों के शवों को हटाया गया.