देश

‘आत्मनिर्भरता’ पर भारत सरकार का जोर, 928 रक्षा उपकरणों के आयात पर लगाई रोक

रक्षा मंत्रालय ने उन 928 पुर्ज़ों और उप-प्रणालियों की एक नई सूची को मंजूरी दी है, जिन्हें सिर्फ देश की ही कंपनियों से खरीदा जा सकेगा. मंत्रालय ने रविवार को कहा कि इस कदम का उद्देश्य रक्षा उत्पादन में ‘आत्मनिर्भरता’ को बढ़ावा देने के सरकार के समग्र उद्देश्य के अनुरूप है.

यह चौथी ‘सकारात्मक स्वदेशीकरण’ सूची (पीआईएल) है, जिसमें ‘रिप्लेसमेंट यूनिट्स’, उप-प्रणालियां और विभिन्न सैन्य प्लेटफॉर्म, उपकरण और हथियारों में इस्तेमाल होने वाले पुर्जे शामिल हैं. मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि रक्षा क्षेत्र में ‘आत्मनिर्भरता’ को बढ़ावा देने और रक्षा सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों के आयात को कम करने के लिए रक्षा मंत्रालय ने चौथी पीआईएल को मंजूरी दी है. बयान के अनुसार, सूची में 928 ‘लाइन रिप्लेसमेंट यूनिट्स’ (एलआरयू)/उपप्रणालियां और कल पुर्जे शामिल हैं जिसका आयात प्रतिस्थापन मूल्य 715 करोड़ रुपये है.

रक्षा मंत्रालय ने वस्तुओं के आयात प्रतिबंध के लिए स्पष्ट समयसीमा निर्धारित की है, जो दिसंबर 2023 से लेकर दिसंबर 2028 तक हैं. इससे पहले मंत्रालय ने दिसंबर 2021, मार्च 2022 और अगस्त 2022 में इसी तरह की तीन पीआईएल जारी की थी. बयान में कहा गया है कि इन सूचियों में शामिल 2500 से ज्यादा चीज़ें हैं जो पहले से स्वदेशी हैं और 1238 (351+107+780) वस्तुओं का निर्धारित समय सीमा के अंदर स्वदेशीकरण किया जाएगा. उसमें कहा गया है कि 1238 वस्तुओं में से 310 का स्वदेशीकरण किया जा चुका है.

बयान में कहा गया है कि इसके अलावा, यह अकादमिक और अनुसंधान संस्थानों को शामिल करके घरेलू रक्षा उद्योग की डिजाइन क्षमताओं को बढ़ाएगा. रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने ट्वीट करके कहा कि नरेन्द्र मोदी सरकार स्वदेशीकरण और रक्षा क्षेत्र में आत्मनिर्भरता सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्ध है. उन्होंने कहा कि इसे ध्यान में रखते हुए 928 ‘लाइन रिप्लेसमेंट यूनिट्स’ (एलआरयू)/उपप्रणालियां और कल पुर्जे की चौथी पीआईएल को मंजूरी दी गई है. सिंह ने कहा कि सूची में उन्नत सामग्री और पुर्जे शामिल हैं, जिनका आयात प्रतिस्थापन मूल्य 715 करोड़ रुपये है.

मंत्रालय ने कहा कि रक्षा सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रम जल्द ही इन अधिसूचित वस्तुओं के लिए खरीद कार्रवाई शुरू करेंगे. सरकार ने पिछले कुछ वर्षों में घरेलू रक्षा उत्पादन को बढ़ावा देने के लिए कई उपाय किए हैं। भारत वैश्विक स्तर पर हथियारों के सबसे बड़े आयातकों में से एक है.

-भारत एक्सप्रेस

Bharat Express

Recent Posts

सुखोई SU-30 MKI के निर्माण और अपग्रेड के लिए नासिक प्लांट को फिर शुरू करेगा HAL

नासिक प्लांट को दोबारा से शुरू करना 'सुपर सुखोई' उन्नयन भारत के रक्षा क्षेत्र के…

2 minutes ago

दिल्ली के सराय काले खां चौक का नाम बदला, अब बिरसा मुंडा चौक के नाम से जाना जाएगा

दिल्ली के सराय काले खां चौक का नाम बदल गया है. शुक्रवार को शहरी विकास…

15 minutes ago

Bihar से दिल्ली लौटते समय PM Modi के विमान में आई तकनीकी खराबी, देवघर एयरपोर्ट पर रुकना पड़ा

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शुक्रवार को बिहार के जमुई जिले में भगवान बिरसा मुंडा की 150वीं…

15 minutes ago

लॉटरी किंग नाम से मशहुर Santiago Martin के कई ठिकानों पर ED की छापेमारी जारी, 5 करोड़ जब्त

लगभग 20 जगहों पर ईडी की यह छापेमारी जारी है. यह छापेमारी मार्टिन, उनके दामाद…

24 minutes ago

PM Modi ने ‘जनजातीय गौरव दिवस’ पर 6,640 करोड़ रुपये की योजनाओं का दिया तोहफा, Bihar में ली खास सेल्फी

बिहार के जमुई जिले में हुए जनजातीय गौरव दिवस समारोह के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी…

45 minutes ago