असम के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा (CM Himanta Biswa Sarma) शर्मा रविवार को कहा कि अब तक जितने भी घुसपैठिये (Assam Infiltration) चिन्हित किए गए हैं, उसमें कोई भी हिंदू नहीं है. उन्होंने अन्य राज्यों की सरकारों से भी घुसपैठियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने के लिए एकजुट होने की अपील की. उन्होंने कहा कि घुसपैठियों को किसी भी कीमत पर स्वीकार नहीं किया जा सकता है.
उन्होंने कहा कि पिछले दो महीने से हम लोग राज्य में कई घुसपैठियों को पकड़ रहे हैं. सीमा सुरक्षा बल द्वारा किए जा रहे तमाम प्रयासों के बावजूद कुछ लोग हमारे देश की सीमा में दाखिल हो रहे हैं, जिसे किसी भी कीमत पर स्वीकार नहीं किया जा सकता है. इस स्थिति में राज्य सरकार की भूमिका अहम हो जाती है. यही नहीं असम के अलावा त्रिपुरा (Assam & Tripura) में भी घुसपैठियों को चिन्हित किया जा चुका है. हालांकि इस पर रोक लगाने की दिशा में पूरी कोशिश जारी है.
सीएम बिस्वा शर्मा ने कहा कि हम लोग सीमा सुरक्षा बल के साथ समन्वय स्थापित कर रहे हैं. इस पूरी प्रक्रिया को हम लोग सीमा सुरक्षा बल की मदद से अंजाम दे रहे हैं. हमारी यही कोशिश है कि कोई घुसपैठियां हमारे राज्य में दाखिल ना हो. पिछले दो महीनों में हम लोगों ने 138 घुसपैठियों को चिन्हित कर उन्हें वापस भेजा है. राज्य में बढ़ते घुसपैठियों के आमद से हमारे संसाधनों पर दबाव बढ़ रहा है. लेकिन मैं एक बात यहां पर कहना चाहूंगा कि कुछ लोग यह दावा कर रहे थे कि बांग्लादेश में मौजूदा स्थिति को ध्यान में रखते हुए महज हिंदुओं की ही आमद हमारे राज्य में बढ़ेगी, लेकिन ऐसा बिल्कुल भी नहीं है. अब तक जितने भी घुसपैठिये राज्य में चिन्हित किए गए हैं, वो सभी रोहिंग्या मुस्लिम (Rohingya Refugee) ही हैं. बंगाली हिंदुओं को लेकर बनी धारणा पूरी तरह से गलत है.
उन्होंने आगे कहा कि मौजूदा आंकड़े यह साफ जाहिर कर रहे हैं कि रोहिंग्या मुस्लिम न महज असम, बल्कि देश के अन्य राज्यों में भी घुसपैठ करने की तैयारी में जुट चुके हैं. ऐसी स्थिति में सभी राज्य सरकार को सीमा सुरक्षा बल (BSF) के साथ पूरी सजगता और सतर्कता के साथ काम करने की आवश्यकता है. असम और त्रिपुरा सरकार पूरे तालमेल के साथ मिलकर काम कर रही है.
उन्होंने कहा, अब तो बंगाल सरकार भी अपने राज्य में घुसपैठियों को चिन्हित करने की कवायद में जुट चुकी है और यह सब कुछ व्यवस्थित ढंग से किया जा रहा है. मुझे लगता है कि मेघालय, असम, त्रिपुरा और बंगाल की सरकारों को सीमा सुरक्षा बल के साथ मिलकर घुसपैठियों को चिन्हित करने की कवायद में जुट जाना चाहिए.
हमने देखा था कि बीते दिनों एक लड़की ने पहले अपना हिंदू नाम बताया था. लेकिन जांच में पता चला कि वह मुस्लिम थी. ऐसी स्थिति में आप खुद ही अंदाजा लगा सकते हैं कि किस स्तर पर इस काम को किया जा रहा है. मुझे लगता है कि हम तालमेल के साथ मिलकर काम करें, तो बड़ी संख्या में घुसपैठियों को चिन्हित कर सकते हैं. मेरा सीधा-सा कहना है कि अगर कोई गैर-कानूनी ढंग से बांग्लादेश से हमारे देश में आता है, तो उसे चिन्हित कर वापस भेजने में कोई कोताही नहीं बरती जाएगी.
Video: यमुना की सफाई के लिए हजारों करोड़ रुपये खर्च होने के बाद भी स्थिति…
Sikkim Soldierathon में देश के 22 राज्यों के 129 शहरों से धावक दौड़ने आये. 1600…
2008 में हुए मुंबई हमले के समय देश में Congress नेतृत्व वाली UPA की सरकार…
विभिन्न सरकारी विभागों में चतुर्थ श्रेणी पदों पर भर्ती के लिए राज्य के 28 जिलों…
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस पर यह हमला 13 नवंबर को…
मंदिर प्रशासन ने भस्म आरती दर्शन के एंट्री से पहले श्रद्धालुओं को हाथों में अब…