Categories: देश

Dr. R G Kar: कौन थे डॉक्टर आरजी कर, जिनके नाम पर कोलकाता के मशहूर मेडिकल कॉलेज का नाम रखा गया

R G Kar Medical College and Hospital: कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेज में एक महिला डॉक्टर के साथ हुई दरिंदगी के मामले में सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई. कोर्ट ने मेडिकल कॉलेज में वित्तीय अनियमितताओं के मामले में CBI को अगले 3 हफ्ते में स्टेटस रिपोर्ट दाखिल करने को कहा है.

इस मामले में आरजी कर मेडिकल कॉलेज के जूनियर डॉक्टर 11 दिन से भूख हड़ताल कर रहे हैं. क्या आपको पता है कि आरजी कर कौन थे, जिनके नाम पर इस मेडिकल कॉलेज का नाम रखा गया है?

दरअसल, आरजी कर का पूरा नाम डॉक्टर राधा गोविंद कर है. उन्होंने ही इस मेडिकल कॉलेज की स्थापना 1886 में की थी. आरजी कर मेडिकल कॉलेज लंबे समय से कोलकाता की स्वास्थ्य सेवा प्रणाली का एक महत्वपूर्ण स्तंभ रहा है.

कोलकाता का मशहूर आरजी कर मेडिकल कॉलेज

1886 में स्थापित, यह संस्थान एशिया का पहला गैर-सरकारी मेडिकल कॉलेज है और इसने पश्चिम बंगाल और इसके बाहर स्वास्थ्य सेवा को बेहतरीन करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है. डॉ. राधा गोविंद कर इस मेडिकल कॉलेज के पहले सचिव के पद पर लगातार 1918 तक बने रहे.

इंग्लैंड से मेडिकल डिग्री लेकर लौटे थे आरजी कर

डॉ. राधा गोविंद कर बंगाल के समाज में बहुत सम्मानित व्यक्ति थे. उन्होंने कोलकाता के बैठक खाना बाजार रोड पर एक किराए के घर से मेडिकल कॉलेज की शुरुआत की थी. उनका जन्म 1852 में हुआ और वे एक चिकित्सक पिता के पुत्र थे. कर ने चिकित्सा की शिक्षा बंगाल मेडिकल कॉलेज से प्राप्त की, जो उस समय एशिया का सबसे पुराना मेडिकल कॉलेज था. स्नातक होने के बाद वह इंग्लैंड के एडिनबर्ग में आगे की पढ़ाई करने गए. एडिनबर्ग से वह 1886 में मेडिकल डिग्री लेकर वापस लौटे.

1886 में ‘कलकत्ता स्कूल ऑफ मेडिसिन’ की स्थापना

वापसी पर, डॉ. कर ने देखा कि औपनिवेशिक संस्कृति के कारण लोग मौजूदा मेडिकल स्कूलों का लाभ उठाने में असमर्थ थे. इस समस्या का समाधान करने के लिए उन्होंने एक नया मेडिकल स्कूल खोलने का विचार किया. इसके बाद उन्होंने 1886 में ही ‘कलकत्ता स्कूल ऑफ मेडिसिन’ की स्थापना की. इस कॉलेज का पहला पाठ्यक्रम तीन साल की अवधि का था. इसे बंगाली भाषा में पढ़ाया जाता था. इस कॉलेज की स्थापना के लिए पूरे बंगाल से दान मांगा था.

किराए की इमारत से की गई इस कॉलेज की शुरुआत

शुरुआत में आर्थिक तंगी की वजह से कॉलेज की शुरुआत बैठक खाना रोड की किराए की इमारत से की गई. इसके बाद इसे बोबाजार स्ट्रीट पर स्थानांतरित कर दिया गया. प्रारंभ में यह सिर्फ कॉलेज था. इसमें अस्पताल नहीं था. इसकी वजह से यहां के छात्रों को प्रशिक्षण के लिए हावड़ा के मेयो अस्पताल जाना पड़ता था.

1898 में, कॉलेज की इमारत के निर्माण के लिए बेलगाचिया में लगभग 4 एकड़ भूमि खरीदी गई. चार साल बाद, 1902 में, तत्कालीन गवर्नर लॉर्ड वुडबर्न ने 30 बिस्तरों वाले अस्पताल का उद्घाटन किया, इस मेडिकल कॉलेज का नाम उस समय ब्रिटेन के राजकुमार अल्बर्ट विक्टर के नाम पर रखा गया था. चूंकि देश आजाद नहीं था, इसलिए ब्रिटेन के राजकुमार के नाम पर इसका नाम रखने से ब्रिटेन सरकार का साथ भी इसे मिल गया.

‘कॉलेज ऑफ फिजिशियन एंड सर्जन्स ऑफ बंगाल’ में विलय

1904 में कॉलेज का विलय ‘कॉलेज ऑफ फिजिशियन एंड सर्जन्स ऑफ बंगाल’ के साथ हुआ, जो 1895 में स्थापित हुआ था. 1916 में, कलकत्ता स्कूल ऑफ मेडिसिन को ‘बेलगछिया मेडिकल कॉलेज’ के रूप में मान्यता मिली. 19 दिसंबर, 1918 को डॉ. आर. जी. कर का निधन हो गया.

12 मई, 1948 को मेडिकल कॉलेज का नाम बदल दिया गया

इस कॉलेज को धीरे-धीरे अपनी सर्जिकल बिल्डिंग, एनाटॉमी ब्लॉक और एशिया की पहली मनोचिकित्सा ओपीडी जैसी सुविधाएं प्राप्त हुईं. 1935 में, सर केदार नाथ दास प्रसूति अस्पताल की स्थापना हुई. इसे आजादी के बाद बहुत प्रसिद्धि मिली. इसका नाम 12 मई, 1948 को कॉलेज का नाम बदलकर इसके संस्थापक डॉ. आर. जी. कर के नाम पर रखा गया.

यह भी पढ़िए: ट्रेनी डॉक्टर रेप-मर्डर केस: SC ने कहा- CBI और राज्य सरकार 3 सप्ताह में दाखिल करें फ्रेश स्टेटस रिपोर्ट

– भारत एक्‍सप्रेस

आईएएनएस

Recent Posts

कांग्रेस पार्टी ने मुस्लिम लीग के सामने अपना ‘झंडा और एजेंडा’ गिरवी रख दिया है : तरुण चुघ

तरुण चुघ ने, “एक बार फिर कांग्रेस का परिवारवाद सामने आया है. यह स्पष्ट है…

5 mins ago

तीन दिन में एक दर्जन फ्लाइट्स को धमकी…अब Fake Call करने वालों की खैर नहीं, गृह मंत्रालय ने लिया बड़ा फैसला

फ्लाइट को धमकी मिलने का सिलसिला बुधवार को भी चला, जिसमें अकासा एयर और इंडिगो…

16 mins ago

Ashes 2025-26: एशेज सीरीज का शेड्यूल जारी, पर्थ में पहला मैच

यह सीरीज ऑस्ट्रेलियाई धरती पर इंग्लैंड के खराब रिकॉर्ड को सुधारने का एक नया अवसर…

19 mins ago

Uttarakhand: चमोली जिले में स्कूटर खड़ा करने को लेकर विवाद के बाद सांप्रदायिक हिंसा, धारा 163 लागू, इलाके में तनाव

चमोली जिले के गौचर बाजार की घटना. पुलिस ने इलाके में सुरक्षा बढ़ा दी है.…

33 mins ago

एक्ट्रेस Oviya Helen का निजी वीडियो लीक, सोशल मीडिया पर मचा तहलका तो अभिनेत्री ने ट्रोलर्स को दिया ये जवाब

तमिल फिल्म इंडस्ट्री की लोकप्रिय अभिनेत्री ओविया हेलेन सोशल मीडिया पर ट्रेंड कर रही हैं.…

35 mins ago

बिहार के सरकारी स्कूलों में मीडिया की एंट्री पर रोक, इस वजह से सरकार ने उठाया कदम

मीडिया पर प्रतिबंध लगाने के पीछे वजह यह बताई गई है कि मीडिया के प्रवेश…

35 mins ago