देश

दिल्ली के उपराज्यपाल ने पेड़ों की कटाई पर सुप्रीम कोर्ट से कहा, नहीं पता था कि अनुमति की जरूरत है, जानें ऐसा क्यों कहा

दिल्ली के उपराज्यपाल (Lt. Governor V.K Saxena) वीके सक्सेना ने सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) को बताया है कि उन्हें इस बात की जानकारी नहीं थी कि राजधानी के ‘रिज’ क्षेत्र में 600 पेड़ों की कटाई के लिए अदालत की अनुमति की आवश्यकता है, जो कि अरावली का विस्तार है. बुधवार की सुनवाई से पहले उन्होंने एक निजी हलफनामे में यह बात कही. अदालत ने उपराज्यपाल सक्सेना से 3 फरवरी को क्षेत्र में उनके दौरे की जानकारी के साथ एक निजी हलफनामा प्रस्तुत करने और यह बताने को कहा था कि पेड़ों की कटाई की जिम्मेदारी तय करने के लिए क्या कदम उठाए जा रहे हैं. साथ ही यह भी बताने को कहा था कि क्या पेड़ों को काटने की अनुमति के बारे में कोई चर्चा हुई थी और उन्हें अदालत की अनुमति की आवश्यकता के बारे में कब पता चला. उपराज्यपाल वीके सक्सेना दिल्ली विकास प्राधिकरण (DDA) के अध्यक्ष भी हैं.

नहीं पता था अदालत की अनुमति जरूरी: उपराज्यपाल

उपराज्यपाल सक्सेना ने अपने हलफनामे में कहा कि उन्होंने 3 फरवरी को रिज क्षेत्र का दौरा किया था, जहां सीएपीएफ (CAPF) के लिए एक चिकित्सा सुविधा स्थापित की जानी है. इस यात्रा के दौरान उन्होंने परियोजना के महत्व और आवश्यकता के साथ-साथ इसमें पहले से निवेश किए गए संसाधनों को भी ध्यान में रखा. वापस लौटते समय वह सड़क चौड़ीकरण स्थल पर रुके. लेकिन वहां मौजूद किसी ने भी उन्हें यह नहीं बताया कि वहां पेड़ों को गिराने के लिए अदालत की अनुमति की आवश्यकता है.

जिम्मेदार अधिकारियों की पहचान कर ली गई है

उपराज्यपाल ने कहा कि उन्हें इस बारे में 21 मार्च को ही पता चला जब डीडीए ने परियोजना के लिए पेड़ों की कटाई की अनुमति के लिए आवेदन किया. उपराज्यपाल ने कहा, “जहां तक ​​इस तथ्य का संबंध है कि पेड़ों की कटाई का वास्तविक कार्य 16/02/2024 को या उसके आसपास शुरू हुआ था, यह बात डीडीए के उपाध्यक्ष के दिनांक 10/06/2024 के पत्र के माध्यम से संज्ञान में लाई गई थी.” हलफनामे में पेड़ों की कटाई के लिए डीडीए के कार्यकारी अभियंता मनोज कुमार यादव को जिम्मेदार ठहराया गया है. जिन्होंने ठेकेदार को पेड़ों को काटने के निर्देश दिए थे. इसके अलावा पवन कुमार और आयुष सारस्वत भी इस काम की अनुमति देने के लिए जिम्मेदार थे. दोनों डीडीए के इंजीनियरिंग विभाग से हैं. उपराज्यपाल ने अधीक्षण अभियंता पंकज वर्मा और मनोज कुमार यादव को न्यायालय से तथ्य छिपाने के लिए जिम्मेदार अधिकारियों के रूप में नामित किया है.

जिम्मेदार अधिकारियों पर हो आपराधिक कार्रवाई: कोर्ट

सुप्रीम कोर्ट डीडीए और दिल्ली सरकार के कुछ अधिकारियों के खिलाफ पेड़ों की कटाई को लेकर अवमानना ​​मामले की सुनवाई कर रहा है. कोर्ट ने कहा था कि अगर अध्यक्ष सहमत हैं तो पेड़ काटने के लिए जिम्मेदार अधिकारियों के खिलाफ आपराधिक कार्रवाई की जानी चाहिए.

-भारत एक्सप्रेस

गोपाल कृष्ण

Recent Posts

आखिर क्या है Joint Therapy, जो Amir Khan को अपनी बेटी Ira संग लेने की पड़ रही जरूरत?

Aamir Khan Taking Joint Therapy With Daughter Ira: आमिर खान ने खुलासा किया कि वे…

56 seconds ago

America: स्टूडेंट के साथ बार-बार सेक्स करने के मामले में Ex-Teacher को 30 साल की सजा

अमेरिका के मैरिलैंड राज्य का मामला. मामले की जांच करने वाले अधिकारियों ने बताया कि…

18 minutes ago

दिल्ली में वायु प्रदूषण को लेकर ग्रेप 4 लागू होगा या नहीं, सुप्रीम कोर्ट इस दिन सुनाएगा फैसला

Delhi Air Pollution: दिल्ली वायु प्रदूषण मामले में सुप्रीम कोर्ट 25 नवंबर को सुनवाई करेगा.…

23 minutes ago

आंध्र प्रदेश: कुरनूल में स्टेज पर दूल्हे-दुल्हन का हो रहा था स्वागत, तभी दोस्त को आया हार्ट अटैक और हो गई मौत, देखें VIDEO

आंध्र प्रदेश के कुरनूल में एक शादी समारोह के दौरान एक युवक की हार्ट अटैक…

42 minutes ago

सुप्रीम कोर्ट ने संविधान की प्रस्तावना में “समाजवादी” और “धर्मनिरपेक्ष” शब्दों को चुनौती देने वाली याचिका पर फैसला सुरक्षित रखा

सुप्रीम कोर्ट ने संविधान की प्रस्तावना में "समाजवादी" और "धर्मनिरपेक्ष" शब्दों को शामिल करने के…

51 minutes ago

सनातन धर्म विवाद मामला: उदयनिधि स्टालिन को सुप्रीम कोर्ट से फरवरी तक राहत, मुकदमों के ट्रांसफर की मांग पर सुनवाई जारी

सुप्रीम कोर्ट ने उदयनिधि स्टालिन को निचली अदालत में पेशी से फरवरी तक छूट देते…

1 hour ago