अजब-गजब

दुनिया का अजीबोगरीब गांव जहां पैदा होते हैं सिर्फ बौने लोग, वैज्ञानिको की रिसर्च भी फेल, हैरान कर देने वाली वजह

आजकल सोशल मीडिया पर तरह-तरह की चीजें देखने को पढ़ने को मिलती है. ऐसे आज हम आपको दुनिया के एक अजीबोगरीब गांव के बारे में बताएंगे. एक ऐसा गांव जहां रहने वाले लोग थोड़े अलग हैं, क्योंकि यहां रहने वाला हर शख़्स छोटे कद का है. लोग इसे ‘बौनों का गांव’ (Dwarf Village) कहते हैं. बताया जाता है कि इस समय ईरान के रहने वाले लोगों की जितनी औसत लंबाई है, उससे करीब 50 सेंटीमीटर कम लंबाई के लोग इस गांव में रहते थे. आइए डिटेल बताते हैं इस जगह के बारे में…

जानें बौने गांव का रहस्य

इस गांव को माखुनिक के नाम से जाना जाता हैं जो ईरान में स्थित है. बताया जाता है कि इस समय ईरान के रहने वाले लोगों की जितनी औसत लंबाई है, उससे करीब 50 सेंटीमीटर कम लंबाई के लोग इस गांव में रहते थे. रिपोर्ट्स के मुताबिक करीब 200 वर्षों पहले इस गांव के ज्यादातर लोग इतने छोटे कद के होते थे कि उनके घर से लेकर जरूरत की सभी चीजें भी बेहद छोटी-छोटी होती थीं. इन्हें देखकर आपकी आंखें भी खुली की खुली रह जाएंगी. हालांकि, अब वहां रहने वाले लोगों का कद बढ़ा है, लेकिन आज की दुनिया के लोगों की तरह सामान्य कद काठी के अब भी नहीं हो पाएं है. जानकारी जुटाने पर पता चला कि यह गांव साल 2005 में उस समय सुर्खियों में आया, जब यहां खुदाई के दौरान सिर्फ 25 सेमी लंबाई की एक ममी मिली थी.

13 गांवों से बना था बौनों का शहर

खुदाई में इतनी छोटी हाइट की ममी मिलने के बाद. यह विश्वास पक्का हो गया कि ईरान में स्थित माखुनिक समेत 13 गांव कभी प्राचीन बौनों का शहर था. हालांकि, इसे लेकर विशेषज्ञों का अलग-अलग दावा है. कुछ लोग बौने वाली बात पर विश्वास नहीं करते, उनका यह मानना है कि खुदाई के दौरान निकली ममी समय से पहले पैदा हुए किसी बच्चे की हो सकती है.

इस वजह से रुक गई उनकी लंबाई

माखुनिक ईरान के दूरदराज का एक सूखा इलाका है. यहां कुछ अनाज, जौ, शलजम, बेर और खजूर जैसे फल की ही खेती होती थी. दावा किया जाता है कि इस गांव के लोगों कद इसलिए नहीं बढ़ पाया, क्योंकि इसके लिए जिन पोषक तत्वों की जरूरत शरीर को होती हैं, वो यहां के लोगों को नहीं मिल पाते थे. वहीं, ये लोग अफीम का सेवन करते थे, जिसने उनके शरीर का विकास पूरी तरह रुक गया.

जानिए क्या कहती है रिसर्च

रिसर्च के बाद यह बात सामने आई की इस गांव में अनाज की कमी है जिसकी वजह से लोगों के शरीर में लंबाई को बढ़ाने वाले पौष्टिक तत्वों की जरूरत होती है जो उन्हें मिल नहीं पाते हैं. यहां पर कई सारे ऐसे घर भी बने हुए हैं जो बहुत ही छोटे हैं और यहां के लोग बड़े घर बनाने से कतराते हैं इसके अलावा गांव में रहने वाली महिलाएं बुनाई का काम करती हैं क्योंकि इस काम के अलावा उनके पास कोई दूसरा कमाई का जरिया नहीं है.

निहारिका गुप्ता

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