महाराष्ट्र के पूर्व मंत्री बाबा सिद्दीकी (Baba Siddiqui) के बेटे जीशान सिद्दीकी (Zeeshan Siddique) शुक्रवार (25 अक्टूबर) सुबह राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) के अजित पवार (Ajit Pawar) के नेतृत्व वाले गुट में शामिल हो गए. बाबा सिद्दीकी की बीते 12 अक्टूबर को मुंबई में गोली मारकर हत्या कर दी गई है.
जीशान, अजित पवार की मौजूदगी में पार्टी में शामिल हुए, जो उपमुख्यमंत्री भी हैं. जीशान बांद्रा (पूर्व) [Bandra (East)] सीट से चुनाव लड़ेंगे, जिसे उन्होंने 2019 के चुनाव में जीता था, जब वे कांग्रेस (Congress) के साथ थे. उनके प्रतिद्वंद्वी उद्धव ठाकरे (Uddhav Thackeray) के भतीजे वरुण सरदेसाई (Varun Sardesai) होंगे, जिनका शिवसेना गुट, कांग्रेस और शरद पवार (Sharad Pawar) के एनसीपी समूह के साथ महा विकास अघाड़ी (MVA – Maha Vikas Aghadi) के रूप में गठबंधन में है.
सोशल साइट एक्स पर एक पोस्ट में जीशान ने एक पोस्ट में कहा, ‘मेरे पिता बाबा सिद्दीकी जी ने हमेशा समाज के गरीब और कमजोर वर्गों के लिए लड़ाई लड़ी और कड़ी मेहनत और लगन में दृढ़ विश्वास रखते थे. वांद्रे पूर्व में हमने जो भी काम किया है, उसके बाद मुझे इन चुनावों में जीतते देखना उनका सपना था और अब मेरा कर्तव्य है कि मैं उनके सपने को पूरा करूं और वांद्रे पूर्व के लोगों की सेवा करूं.’
उन्होंने कहा, ‘आज मैं औपचारिक रूप से एनसीपी में शामिल हो गया हूं और अजीत दादा पवार, प्रफुल्ल पटेल जी, सुनील तटकरे जी और पूरे एनसीपी परिवार को इन कठिन समय में मुझ पर भरोसा करने के लिए धन्यवाद देता हूं. मैं अजीत दादा पवार के अटूट समर्थन और लोगों के आशीर्वाद और मेरे पिता के मार्गदर्शन के साथ मुझे चुनाव लड़ने की जिम्मेदारी सौंपने के लिए उनका आभारी हूं.’
वे आगे कहते हैं, ‘इस अवसर से अभिभूत होकर मैं लोगों का जनादेश मांगूंगा और अपने पिता द्वारा समर्पित किए गए उद्देश्य को आगे बढ़ाने के लिए अथक प्रयास करूंगा, जो वांद्रे पूर्व और उससे आगे के लोगों की सेवा करते हैं.’
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विधान परिषद चुनाव में क्रॉस वोटिंग की खबरों के बाद अगस्त में कांग्रेस से निष्कासित किए गए जीशान सिद्दीकी का एनसीपी में जाना ऐसे समय में हुआ है, जब एक दिन पहले ही उन्होंने महा विकास अघाड़ी पर निशाना साधा था और आरोप लगाया था कि उनके पिता, जो तीन बार कांग्रेस विधायक रह चुके थे और एनसीपी में चले गए थे, की मृत्यु के बाद पार्टी ने उन्हें छोड़ दिया है.
जीशान की नाराजगी तब हुई जब एमवीए ने कहा कि वांद्रे (पूर्व) सीट पर ठाकरे की सेना चुनाव लड़ेगी, जिसके तहत उनकी पार्टी, शरद पवार की एनसीपी और कांग्रेस 85-85 सीटों पर चुनाव लड़ेंगी.
66 वर्षीय बाबा सिद्दीकी की 12 अक्टूबर को मुंबई के बांद्रा इलाके में उनके बेटे के दफ्तर के बाहर गोली मारकर हत्या कर दी गई थी. पुलिस अब तक 14 लोगों को गिरफ्तार कर चुकी है और हत्या के पीछे का मकसद जानने के लिए अलग-अलग एंगल से जांच कर रही है.
पूर्व खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति मंत्री बाबा सिद्दीकी दो बार अविभाजित वांद्रे सीट से कांग्रेस के विधायक रहे. 2008 में इस सीट का विभाजन हुआ, जिसके बाद वे वांद्रे (पश्चिम) से विधायक बने. इस साल की शुरुआत में भी उन्होंने कांग्रेस छोड़ दी और अजित पवार के एनसीपी गुट में शामिल हो गए थे.
-भारत एक्सप्रेस
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