UP Budget 2023: यूपी विधानसभा सत्र के दौरान प्रदेश के ऊर्जा एवं नगर विकास मंत्री एके शर्मा ने अपने जवाबों से विपक्ष के द्वारा दागे गए सवालों को ढेर कर दिया. बुधवार को सत्र के दौरान एके शर्मा के सवालों का चुन-चुनकर डाटा के साथ जवाब दिया. वहीं, विपक्ष शोर-शराबा करता दिखाई दिया. यहां तक कि नेता विपक्ष अखिलेश यादव बार-बार अपनी कुर्सी से खड़े होकर एके शर्मा को बोलने से रोकते नज़र आए. कैबिनेट मंत्री शर्मा ने बिजली उत्पादन एवं आपूर्ति के मुद्दे पर योगी सरकार की उपलब्धियों को गिनाया.
एके शर्मा ने कहा कि दस वर्षों में सबसे ज़्यादा विद्युत उत्पादन और सप्लाई साल 2022-23 में की गई. खास बात ये कि सपा के शासनकाल के 2012 (पिक डिमांड) की तुलना में इस साल दोगुनी डिमांड पूरी की गई. उन्होंने कहा कि बढ़ती हुई विद्युत मांग को पूरा करने के लिए सरकार पूरी तरह सजग और सतर्क है. योगी शासन के पिछले सालों में कई उत्पादन इकाइयां या तो शुरू की गईं या उनमें उत्पादन शुरू किया गया. इनमें हरदुआगंज, जवाहर पुर, पनकी, ओबरा सी, घाटमपुर शामिल हैं. साथ ही नवीकरणीय ऊर्जा के कई प्रोजेक्ट शुरू किए जा रहे हैं. ऊर्जा मंत्री ने कहा कि जर्जर एवं खराब तारों तथा खंभों को बदलने की योजनाएं बखूबी अमल हो रही हैं.
एके शर्मा ने कहा कि ख़राब पड़े या अधिभारित ट्रांसफ़ॉमर बड़ी संख्या में बदले गये हैं. आरडीएसएस योजना के बारे में उन्होंने यह कहकर सबको प्रभावित किया कि विधानमंडल के सभी सदय उन्हें ईमेल लिखकर अपने क्षेत्र की बिजली समस्यायें को स्थानीय अधिकारियों कोे सर्वे में बता दें. उन्होंने बताया कि योजना की सारी औपचारिकताएं पूर्ण करके अब कार्य शुरू हो रहा है.
विपक्ष द्वारा यह कहे जाने पर कि यह सरकार कंपनियों को फायदा करा रही है. इस बात पर भड़के एके शर्मा ने विपक्ष का कच्चा चिट्ठा खोल दिया. उन्होंने बताया कि 2006 तथा 2009 से 2014 के दरम्यान बहुत ही महंगे विद्युत अनुबंध प्राइवेट कंपनियों के साथ किए गए, जिसकी वजह से प्रति यूनिट बिजली की खरीद सबसे महंगी दर पर करनी पड़ रही हैं. इसीलिए UP में बिजली महंगी है. इतना ही नहीं इन PPA की वजह से बिजली नहीं लेने की दशा में फिक्स चार्ज देना पड़ता है, जो 8-10 हज़ार करोड़ रुपया वार्षिक है और यह अनावश्यक है. उन्होंने यह भी कहा कि ये अनुबंध ही प्रदेश की बिजली समस्या का मूल कारण हैं. शर्मा ने कहा कि इन अनुबन्धों का संज्ञान लेकर UPERC ने नये विद्युत संयंत्र लगाने पर पाबंदी भी लगा दी थी.
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ऊर्जा मंत्री एके शर्मा ने अखिलेश यादव के बार- बार टोकने की चिंता किए बगैर सपा के पुराने कृत्यों को उजागर करते हुए यह भी कहा कि इन अनर्गल अनुबंधों को रद्द करने के लिए क़ानूनी सलाह लेकर कार्रवाई करेंगे. उन्होंने सदन को बताया कि तमाम दुश्वारियों के बावजूद ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट में 800 मेगावाट के 4 प्लांट ओबरा और अनपरा में लगाने के लिए NTPC के साथ MOU किया गया है. नवीकरणीय ऊर्जा के क्षेत्र में भी बड़ी संख्या में MOU किया गया है.
साथ ही बिजली की बढ़ती माँग को पूरा करने के लिए बिजली के इंफ्रास्ट्रक्चर को दुरुस्त किया जा रहा है.
-भारत एक्सप्रेस
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