लोकसभा चुनाव के दूसरे चरण के तहत 13 राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों की 88 सीटों के लिए मतदान शुक्रवार (26 अप्रैल) को संपन्न हो गए. सुबह सात बजे से शुरू हुए मतदान के लिए कई राज्यों में पोलिंग बूथ पर लोगों की भारी भीड़ देखी गई. चुनाव आयोग के आंकड़ों के अनुसार, औसत मतदान करीब 61% रहा. सर्वाधिक मतदान त्रिपुरा में दर्ज किया गया, जहां 78.53 प्रतिशत लोगों ने अपने मताधिकार का इस्तेमाल किया. इसके बाद मणिपुर रहा, जहां 77.18 प्रतिशत लोगों ने वोट डाला. वहीं, उत्तर प्रदेश में 53.71 प्रतिशत तो महाराष्ट्र में 53.84 प्रतिशत मतदान दर्ज किया गया.
चुनाव आयोग के आंकड़ों के अनुसार, दूसरे चरण के तहत शाम 5 बजे तक असम में 70.66%, बिहार में 53.03%, छत्तीसगढ़ में 72.13%, जम्मू कश्मीर में 67.22%, कर्नाटक में 63.90%, केरल में 63.97%, मध्य प्रदेश में 54.83%, राजस्थान में 59.19% और पश्चिम बंगाल में 71.84% मतदान दर्ज किया गया है.
लोकसभा चुनाव के दूसरे चरण के लिए मतदान सुबह सात बजे शुरू हुआ और शाम छह बजे तक जारी रहा। कई राज्यों में भीषण गर्मी के बीच मतदान हुआ. चुनाव आयोग ने कहा कि मतदान कुल मिलाकर शांतिपूर्ण रहा. उसने कहा कि शाम सात बजे तक मतदान का अनुमानित आंकड़ा 60.96 प्रतिशत रहा, जो सभी मतदान केंद्रों से रिपोर्ट प्राप्त होने के बाद बढ़ सकता है. उन्होंने कहा कि मतदान के अंतिम समय में मतदान केंद्र पहुंचे मतदाताओं को बाद तक वोट डालने की अनुमति दी गई.
लोकसभा चुनाव के दूसरे चरण में केरल की सभी 20 सीटों, कर्नाटक की 14, राजस्थान की 13, महाराष्ट्र और उत्तर प्रदेश की आठ-आठ, असम और बिहार की पांच-पांच, मध्य प्रदेश की छह, छत्तीसगढ़ और पश्चिम बंगाल की तीन-तीन सीटों पर मतदान हुआ. वहीं त्रिपुरा, मणिपुर और जम्मू-कश्मीर में एक-एक सीट के लिए वोटिंग हुई. शाम 6 बजे मतदान की प्रक्रिया खत्म हुई. अब इन सीटों पर डाले गए वोटों की गिनती 4 जून को होगी.
दूसरे चरण में ‘आउटर’ मणिपुर निर्वाचन क्षेत्र से चार सहित कुल 1,206 उम्मीदवार चुनाव मैदान में हैं.
पहले इस चरण में 89 सीटों पर मतदान होने की उम्मीद थी, लेकिन बहुजन समाज पार्टी (BSP) के एक उम्मीदवार की मौत के बाद मध्य प्रदेश के बैतूल में मतदान की तारीख में बदलाव किया गया है. यहां अब तीसरे चरण में 7 मई को मतदान होगा.
दूसरे चरण के प्रमुख उम्मीदवारों में केंद्रीय मंत्री राजीव चंद्रशेखर, भाजपा के तेजस्वी सूर्या, हेमा मालिनी, अरुण गोविल, कांग्रेस नेता राहुल गांधी, शशि थरूर और कर्नाटक के पूर्व मुख्यमंत्री और जेडीएस के एचडी कुमारस्वामी शामिल हैं.
इस चुनाव में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) लगातार तीसरे कार्यकाल के लिए बड़े बहुमत का विश्वास जता रहा है, वहीं विपक्षी ‘इंडिया’ गठबंधन के घटक दल 2014 और 2019 के चुनाव में हार के बाद फिर से सत्ता में लौटने के लिए मशक्कत कर रहे हैं.
पिछले लोकसभा चुनाव यानी कि 2019 में सेकेंड फेज की सीटों में से सबसे ज्यादा 50 भाजपा को मिली थीं. 8 सीटें NDA के सहयोगी दलों ने जीती थीं. वहीं, 21 सीटें कांग्रेस के खाते में गईं थीं. जबकि 9 सीटें अन्य को मिली थीं.
दूसरे चरण के बाद इन 13 राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों में लोकसभा के चुनाव संपन्न हो गए. इन राज्यों में राजस्थान, केरल, तमिलनाडु, मेघालय, मिजोरम, नगालैंड, उत्तराखंड, त्रिपुरा, अंडमान निकोबार, पुडुचेरी, लक्षद्वीप, सिक्किम और त्रिपुरा शामिल हैं. 19 अप्रैल को पहले चरण में 21 राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों की 102 सीटों पर चुनाव संपन्न हुए थे. पहले चरण में करीब 62 फीसदी मतदान हुआ था. तीसरे चरण के तहत 7 मई को 12 राज्यों की 94 सीटों पर मतदान होंगे.
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