Mirzapur: मिर्ज़ापुर के श्रुतिहार गांव में स्थित 14 मंजिला इमारत गांव वालों के लिए जान की मुसीबत बन गई है. यहां के लोगों ने सरकारी अधिकारियों से इस निर्माण को गिराने की मांग की है. मकान जर्जर हो गया है और कभी भी गिर सकता है. गांव वालों का कहना है कि यह मकान अवैध रूप से बनाया गया है.
बता दें कि इस इमारत को लेकर एक वीडियो भी सामने आया है. इस वीडियो में इमारत की स्थिति सही नहीं दिखाई दे रही है. इस 14 मंजिला मकान को गिराने की अपील करते हुए गांव के सरपंच सुरेंद्र सिंह ने मीडिया से कहा है कि इस मकान को बिना उचित मंजूरी के ही बना दिया गया था. एक डाक्टर ने अपने शौक को पूरा करने और फेमस होने के लिए जल्दबाजी में इस मकान को बनवाया था, लेकिन अब ये जर्जर हालत में है.
उन्होंने बताया कि करीब 15 साल पुराना ये मकान है और बिना किसी खंभे या प्लास्टर के बना है. यह पूरी तरह से जर्जर हो चुका है औऱ कभी भी गिर सकता है. अगर ये गिरा तो आस-पास रहने वालों का काफी नुकसान हो जाएगा. इसी वजह से लोग डरे हुए हैं. सरपंच ने कहा कि जब भी तेज बारिश या तूफान आता है तो लोगों की जान मुंह को आ जाती है. इसे जिला अधिकारी ने जब्त कर लिया है. हम सरकार से किसी भी अप्रिय घटना को रोकने के लिए इसे ध्वस्त करने की अपील करते हैं.
ये भी पढ़ें- 4 बीवी 6 बच्चे और गांव में 14 तल्ला मकान, इस डॉक्टर के शौक देखकर रह जाएंगे हैरान
इस पूरे मामले को लेकर चुनार के एसडीएम नवनीत सहरा ने मीडिया को बयान दिया है और कहा है कि तलाक भरण-पोषण के एक मामले में मकान को जब्त कर लिया गया था. कोर्ट के आदेश पर इसकी नीलामी कराई गई थी, लेकिन नीलामी के दौरान किसी ने इसे नहीं खरीदा. उन्होंने ये भी कहा कि अगर जानमाल की हानि जैसी कोई स्थिति बनी तो कार्रवाई की जाएगी. इसी के साथ उन्होंने ये भी कहा है कि मकान के कारण खतरा उत्पन्न हुआ तो हम धारा 133 का उपयोग करके इसे हटा देंगे.
मिर्जापुर श्रुतिहार गांव के लोग बताते हैं कि यहां डाक्टर सियाराम सिंह पटेल हुआ करते थे उनको चर्चा में बने रहने का शौक था. इसीलिए ये मकान रातो-रात बनवा डाला. बता दें कि ये मकान मात्र 1200 स्क्वायर फ़ीट कि जगह में किलानुमा 14 मंजिला बिल्डिंग के रूप में बना हुआ है. आस-पास के लोग बताते हैं कि डाक्टर ने 4 शादियां की थी, जिससे उसके 6 बच्चे हैं और अब सभी में विवाद चल रहा है. सियाराम सिंह पटेल की तीसरी पत्नी के बच्चे गुजारा भत्ता के लिए कोर्ट गये थे. इस के बाद से ही इमारत पूरी तरह से बंद है. गांव वालों ने बताया कि दस साल पहले ही गांव छोड़कर डाक्टर सोनभद्र चले गए और फिर कभी लौट कर नहीं आए.
अली को नवंबर 2019 में लश्कर के एक ऑपरेटिव शेख अब्दुल नईम उर्फ सोहेल खान…
फरवरी 2020 में, तत्कालीन अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प की भारत यात्रा के साथ ही नागरिकता…
मध्य प्रदेश में शिवपुरी के पुलिस अधीक्षक अमन सिंह राठौड़ ने बताया कि कोतवाली के…
सूरत जिले में फिलहाल तेंदुओं की संख्या 150 पर पहुंची है. बीते छह महीने में…
झारखंड हाईकोर्ट ने राज्य सरकार की ओर से चलाई जा रही ‘मंईयां सम्मान योजना’ पर…
मणिपुर को 1980 से ही AFSPA के तहत ‘अशांत क्षेत्र’ का दर्जा प्राप्त है और…