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लाड़ली बहना योजना: सीएम शिवराज सिंह चौहान बोले- बहनों की जिन्दगी बदलना मेरी पहली प्राथमिकता

मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि बहनों की जिन्दगी बदलना मेरी पहली प्राथमिकता है। बहन-भाई का रिश्ता भगवान का बनाया रिश्ता है, बहनों का कोई धर्म या जाति नहीं होती। मेरी बहनों के सारे दुख-दर्द मैं हर लूँ, बहनें मजबूर नहीं, मजबूत बनें यही मेरा संकल्प है। गरीब, निम्न मध्यम वर्गीय परिवारों की बहनों को कई तरह की कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है। भगवान ने बेटा-बेटी को एक समान बनाया किन्तु इतिहास के क्रम में बेटों को अधिक महत्व मिलने लगा और बेटियाँ नजरअंदाज होने लगी। इस स्थिति को बदलने और बेटियों की बेहतरी के लिए राज्य शासन ने कई योजनाएँ लागू की हैं। इसी क्रम में लाड़ली बहना योजना आरंभ की जा रही है। बहनें अपनी रोजमर्रा की जरूरतों के लिए परेशान नहीं हो, इसलिए हमने प्रतिमाह 1000 रूपए उपलब्ध कराने के लिए मुख्यमंत्री लाड़ली बहना योजना आरंभ की है। योजना से मिली राशि को बहनें स्वयं और अपने परिवार की बेहतरी के लिए खर्च करेंगी। यह योजना सामाजिक क्रांति सिद्ध होगी। मुख्यमंत्री चौहान आज भोपाल नगर के विभिन्न वार्डों में लाड़ली बहना योजना के फॉर्म भरवाने और संवाद करने पहुँचे।

ईदगाह हिल्स, टीला जमालपुरा, बरखेड़ी, पंचशील नगर और सुनहरी बाग में किया संवाद

मुख्यमंत्री चौहान ने ईदगाह हिल्स स्थित वार्ड क्रमांक 10 के योग केन्द्र में नाजिया, संतोष तिरतड़े और प्रीति मेहरा के आवेदन भरवाए। वार्ड क्रमांक 13 टीला जमलापुरा के शॉपिंग सेंटर में लगे केम्प में शिल्पी सिसोदिया और आयशा खान एवं वार्ड 25 बरखेड़ी के रशीदिया स्कूल में पूजा और सविता चंद्रवंशी के फार्म भरवाए। मुख्यमंत्री चौहान ने वार्ड क्रमांक 47 पंचशील नगर के कैम्प में छाया बोरसे, शिवानी धनेलिया और वार्ड 32 सुनहरी बाग केम्प में अनिता निकम तथा बरखा तोमर के फार्म स्वयं भरवाए।

बहनें दुख सहने, गरीब रहने, कठिनाई में जीवन बिताने के लिए पैदा नहीं हुई

मुख्यमंत्री चौहान ने बहनों से संवाद में कहा कि हमें गरीब नहीं रहना है। बहनें दुख सहने, गरीब रहने, कठिनाई में जीवन बिताने के लिए पैदा नहीं हुई हैं। हम मिल कर जमाना बदलेंगे। बहन-बेटियाँ सम्मान और आत्म-विश्वास के साथ जीवन जिये, राज्य शासन महिलाओं के सशक्तिकरण और सभी क्षेत्रों में उन्हें बराबरी के अवसर उपलब्ध कराने के लिए प्रतिबद्ध है। इसी उद्देश्य से बालिका के जन्म से लेकर उसकी शिक्षा, विवाह और उन्हें आत्म-निर्भर बनाने के लिए विभिन्न योजनाएँ संचालित की जा रही हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि महिलाओं का चूल्हे-चौके और घर तक सीमित रहने का समय अब बीत चुका है। महिलाएँ किसी से कम नहीं हैं, राजनैतिक जीवन हो, शासकीय सेवा हो या स्वयं का काम आरंभ करने की बात हो, हर क्षेत्र में महिलाओं को आगे आना चाहिए। राज्य शासन ने पंचायतों और नगरीय‍ निकायों के चुनावों में आधी सीटें महिलाओं के लिए आरक्षित की हैं। पुलिस सहित सभी शासकीय सेवाओं में पर्याप्त आरक्षण की व्यवस्था है। महिलाएँ एकजुट होकर अपने काम आरंभ कर सकें इस उद्देश्य से प्रदेश में स्व-सहायता समूह गठित किए गए हैं और बड़ी संख्या में महिलाएँ इससे जुड़ी हैं। मुख्यमंत्री चौहान ने भोपाल कलेक्टर तथा नगर निगम आयुक्त को भोपाल में महिला स्व-सहायता समूहों के गठन के लिए अभियान चलाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि हमें यह सुनिश्चित करना है कि हर महिला प्रतिमाह कम से कम 10 हजार रूपए की आय अर्जित करें।

अब तक एक करोड़ 20 लाख बहनों ने कराया पंजीयन

मुख्यमंत्री चौहान ने कहा कि बहनों का जीवन खुशी और आनंद से भरा हो, उनके जीवन में कोई कठिनाई नहीं आए, इस उद्देश्य से राज्य शासन सभी आयामों पर कार्य कर रही है। महिलाओं के नाम अचल सम्पत्ति की रजिस्ट्री कराने पर स्टाम्प शुल्क केवल एक प्रतिशत लगता है जबकि पुरूष के नाम पर रजिस्ट्री में यह शुल्क तीन प्रतिशत है। इससे बड़े पैमाने पर अचल सम्पत्तियाँ महिलाओं के नाम दर्ज हुई हैं। प्रधानमंत्री आवास योजना के आवासों में भी पति के साथ पत्नी का नाम दर्ज करना आवश्यक किया गया है। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य शासन ने प्रदेश में एक अप्रैल से शराब की दुकानों के साथ चलने वाले सभी अहाते बंद कर दिये हैं। यह निर्णय भी महिलाओं की जिन्दगी सुधारने के उद्देश्य से लिया गया है। प्रदेश की सभी पंचायत और वार्डों में लाड़ली बहना सेना का गठन भी किया जाएगा। यह सेना सभी परिस्थितियों में महिलाओं की मदद के लिए तत्पर रहेगी। मुख्यमंत्री चौहान ने कहा कि मुख्यमंत्री लाड़ली बहना योजना में अब तक एक करोड़ 20 लाख बहनों ने पंजीयन कराया है।

बिछा दो अपनी पलकों को कि मेरे भईया जी आए हैंगीत से किया मुख्यमंत्री का स्वागत

मुख्यमंत्री चौहान के विभिन्न वार्डों में पहुँचने पर बहनों ने भाव-विभोर होकर आत्मीय स्वागत किया। ईदगाह हिल्स स्थित योग केन्द्र में बहनों ने स्वस्ति-वाचन के साथ तिलक कर मुख्यमंत्री का स्वागत किया। टीला जमालपुरा स्थित केम्प में बहनों ने घर के बनाए पकवान खिला कर तथा “बिछा दो अपनी पलकों को – कि मेरे भईया जी आए हैं” गीत गाकर मुख्यमंत्री का स्वागत किया। मुख्यमंत्री चौहान ने भी “फूलों का तारों का सबका कहना है – एक हजारों में मेरी बहना है” गीत गाकर बहनों का उत्साहवर्धन किया।

नजर उतार कर किया अभिवादन

रशीदिया स्कूल पहुँचने पर स्थानीय निवासी नगीना अफरोज ने मुख्यमंत्री चौहान की नजर उतारी। अफरोज ने कहा कि मुख्यमंत्री चौहान ने बहनों की बेहतरी के लिए कई योजनाएँ और कार्यक्रम आरंभ किए हैं। वे ऐसे ही ‘पिरयास’ करते रहें, उन्हें किसी की नजर न लगे। महिलाओं ने मुख्यमंत्री लाड़ली बहना योजना पर केन्द्रित गीत भी सुनाया, जिसके बोल थे – ‘जब कोविड पड़ो भारी, भईया तुमने न हिम्मत हारी, ई-केवायसी करवा लो प्यारी, लिंक करवा लो जाको आधार से, भईया जी तो है बड़े काम के’।

वार्ड 35 की निखत ने लाड़ली बहना योजना में लाखों परिवारों को सहारा देकर भाई-बहन के अटूट बंधन को मजबूत बनाने के प्रतीक स्वरूप मुख्यमंत्री चौहान को राखी बांधी। स्थानीय निवासी रचना ने कहा कि हमारी जैसी परिस्थितियों में रह रही बहनों के लिए एक-एक पैसा मायने रखता है। प्रतिमाह 1000 रूपए मिलने से हम महिलाओं के साथ पूरे परिवार को बहुत फायदा होगा।

-भारत एक्सप्रेस

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