Ayodhya Ram Mandir: लंबे इंतजार के बाद इस बार रामलला अपनी जन्मभूमि पर स्थित भव्य मंदिर के गर्भगृह में अपना जन्मोत्सव यानी रामनवमी मनाने जा रहे हैं. इस दिन को लेकर मंदिर में खास तैयारी चल रही है. बता दें कि 17 अप्रैल यानी आज से तीन दिन बाद रामनवमी का त्योहार है. इस दिन भगवान राम का जन्म हुआ था. तो वहीं इस बार आयोध्या में 500 सालों के बाद पहली बार रामलला अपने गर्भगृह में अपना जन्मोत्सव मनाएंगे तो वहीं पहली बार दुनिया राम मंदिर में एक अद्भुत नजारा भी देखेगी. दरअसल पहली बार रामलला का सूर्य अभिषेक होगा. इस पल के साक्षी बनने के लिए लाखों-करोड़ों रामभक्त तैयार बैठे हैं. तो वहीं अनुमान लगाया जा रहा है कि इस दिन लाखों की संख्या में भक्त मंदिर पहुंचेंगे.
मंदिर ट्रस्ट की ओर से मिली जानकारी के मुताबिक रामलला रामनवमी पर चांदी और सोने के तारों से बुना विशेष डिजाइनर वस्त्र पहनेंगे. जन्मोत्सव पर सभी कार्यक्रम दो दिन पहले से ही शुरू हो जाएंगे. इसे दिल्ली से विमान के जरिए अयोध्या लाया जाएगा. तो वहीं राम मंदिर को सजाने व रामलला के श्रृंगार के लिए दिल्ली और कर्नाटक से खास फूल लाए जाएंगे. इन फूलों की खासियत ये है कि ये करीब एक हफ्ते तक नहीं सूखते. तो वहीं रामनवमी पर रामलला के बधाई गीतों से पूरा मंदिर गूंजेगा. साथ ही वेदों और पुराणों का पाठ किया जाएगा. 56 प्रकार के विशेष पकवानों से भोग लगाया जाएगा.
रामनवमी के दिन दोपहर 12 बजे रामलला का अभिषेक सूर्य भगवान करेंगे. 12:00 बजे गर्भगृह का पर्दा हटा दिया जाएगा. इसके बाद भक्त दर्शन कर सकेंगे. अष्टमी से लेकर नवमी और दशमी के दिन मंदिर में उत्सव का माहौल रहेगा. बता दें कि बीते 500 वर्षो तक रामलला तम्बू और टेंट में रहे हैं. पहली बार है जब भव्य मंदिर में उनका जन्मोत्सव मनाया जा रहा है. माना जाता है कि जब श्रीराम का जन्म हुआ था तब एक माह तक सूर्यास्त नहीं हुआ था. यही वजह है कि जन्मोत्सव के अवसर पर मंदिर में ऐसी व्यवस्था की गई है कि भगवान सूर्य अपनी किरणों से रामलला का अभिषेक करेंगे.
-भारत एक्सप्रेस
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