Army Bunker Fire: सियाचिन ग्लेशियर के पास सेना के बंकर में आग लग गई. इस भीषण हादसे में एक अधिकारी की जान चली गई, जबकि तीन जवान घायल हो गए. हालांकि, उन्हें तुरंत बाहर निकाला गया और इलाज के लिए अस्पताल ले जाया गया. भारतीय सेना के एक अधिकारी के मुताबिक, आग सुबह करीब 3:30 बजे शॉर्ट सर्किट के कारण लगी. अधिकारी ने कहा, “दुख की बात है कि हमने इस घटना में एक चिकित्सा अधिकारी को खो दिया, लेकिन निकाले गए तीन लोगों की हालत स्थिर है और उन्हें चिकित्सा देखभाल मिल रही है.”
सियाचिन ग्लेशियर में तैनात सैनिकों को जिन असाधारण परिस्थितियों का सामना करना पड़ता है, उस पर ध्यान देना महत्वपूर्ण है. काराकोरम रेंज में स्थित ग्लेशियर को दुनिया के सबसे ऊंचे और सबसे ठंडे युद्धक्षेत्र के रूप में जाना जाता है. दुर्गम इलाके के साथ दुर्गम वातावरण सेना के ऑपरेशन को बेहद चुनौतीपूर्ण बना देता है. सियाचिन ग्लेशियर भारत और पाकिस्तान दोनों के लिए एक रणनीतिक सैन्य पोस्ट रहा है. दोनों देशों ने इस क्षेत्र में मजबूत सैन्य उपस्थिति बनाए रखी है. ऊबड़-खाबड़ परिदृश्य और मौसम की स्थिति महत्वपूर्ण जोखिम और चुनौतियां पैदा करती है, जैसा कि हाल ही में बंकर में आग लगने की घटना से पता चलता है.
जैसे-जैसे घटना की जांच आगे बढ़ रही है, भारतीय सेना के लिए यह सुनिश्चित करना आवश्यक है कि भविष्य में ऐसी त्रासदियों को रोकने के लिए उपाय किए जाएं. सुरक्षा प्रोटोकॉल का कड़ाई से पालन, नियमित रखरखाव जांच और कठोर प्रशिक्षण ऐसे चरम वातावरण में संचालन से जुड़े जोखिमों को कम करने में मदद कर सकते हैं. एक बहादुर सेना अधिकारी की मृत्यु और जवानों को लगी चोटें भारतीय सशस्त्र बलों द्वारा किए गए बलिदानों की याद दिलाती हैं.
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