Meerut: उत्तर प्रदेश के मेरठ जिले से चौंका देने वाली खबर सामने आ रही है. यहां के लाला लाजपत राय मेडिकल कॉलेज के एआरटी (एंटी रेट्रोवायरल थेरेपी सेंटर) ने एक बड़ा खुलासा करते हुए जानकारी दी है कि, पिछले सोलह महीने में अब तक कुल 80 महिलाएं प्रसव के लिए पहुंची जिनको जांच के दौरान एचआईवी पॉजिटिव पाया गया है. इनमें 35 महिलाएं पहले से ही इस रोग से ग्रसित थीं और उन्होंने बच्चों को जन्म दिया, तो वहीं 2022-23 में कुल 33 नए केस प्रसव के दौरान पाए गए हैं. हालांकि इस पूरे मामले में मेरठ मेडिकल कॉलेज और जिला स्वास्थ्य विभाग पैनी नजर रखे हैं और सभी का ART सेंटर के सहयोग से इलाज किया जा रहा है.
इस पूरे मामले को लेकर स्थानीय मेडिकल विभाग से जुड़े अधिकारी का कहना है कि, स्वास्थ्य विभाग की एक टीम भी इस पर बराबर नजर रख रही है. मेरठ के लाला लाजपत राय मेडिकल कॉलेज के एंटी-रेट्रोवायरल थेरेपी (ART) सेंटर की एक रिपोर्ट के बाद बड़ी संख्या में मामले सामने आए, जिसमें बताया गया कि लाला लाजपत राय अस्पताल में प्रसव के लिए आई 80 गर्भवती महिलाओं में HIV की पुष्टि हुई थी. तो दूसरी ओर जानकारी सामने आ रही है कि सभी पीड़ित महिलाओं का इलाज किया जा रहा है और जच्च-बच्चा दोनों स्वस्थ्य हैं. हालांकि इस दौरान मेरठ मेडिकल कॉलेज और जिला मुख्य चिकित्सा अधिकारी ने इन महिलाओं से कितने बच्चों का जन्म हुआ है, इसके बारे में कोई पुष्टि नहीं की है और न ही कोई जानकारी मीडिया के साथ शेयर की है.
ये भी पढ़ें- Ayodhya: राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम को लेकर फाइनल तारीख घोषित, जनवरी में इन तीन दिनों तक होगा भव्य आयोजन
इस मामले में ART सेंटर की रिपोर्ट ने खुलासा करते हुए बताया है कि, 80 HIV पॉजिटिव महिलाओं में से कम से कम 35 प्रभावित महिलाओं ने बच्चों को जन्म दिया है. इसी के साथ ये भी खुलासा किया है कि, 2022-23 के बीच मेरठ के लाला लाजपत राय मेडिकल कॉलेज में गर्भवती महिलाओं में एचआईवी के 33 नए मामले दर्ज किए गए थे. इसी के साथ रिपोर्ट में ये भी बताया गया है कि, जुलाई 2023 तक 13 नए मामले दर्ज किए गए. इसके अलावा, 35 गर्भवती महिलाएं पहले से ही एचआईवी से प्रभावित पाई गईं. वहीं मेरठ मेडिकल कॉलेज के प्रशासनिक अधिकारियों ने मीडिया को जानकारी दी कि, सभी प्रभावित महिलाओं का मेडिकल कॉलेज के एआरटी सेंटर में इलाज चल रहा है और सभी पीड़ित महिलाओं का स्वास्थ्य सही है. इसी के साथ नवजात शिशुओं को लेकर एआरटी सेंटर के नोडल अधिकारी ने जानकारी दी है कि 18 माह पूरे होने पर नवजात शिशुओं की एचआईवी जांच करायी जायेगी और तभी बच्चों के स्वास्थ्य के बारे में जानकारी सामने आ सकेगी. वहीं इस मामले में मेरठ के मुख्य चिकित्सा अधिकारी (सीएमओ) डॉ. अखिलेश मोहन प्रसाद ने मीडिया को बताया कि, “मेरठ के लाला लाजपत राय मेडिकल कॉलेज में 60 महिलाओं में एचआईवी के मामले सामने आए हैं. इसी के साथ उन्होंने ये भी बताया कि, सभी महिलाएं और नवजात बच्चे स्वस्थ हैं. सभी को डाक्टरों की टीम की निगरानी में रखा गया है.
-भारत एक्सप्रेस
आपने भी क्रिसमस के मौके पर ‘जिंगल बेल-जिंगल बेल’ गुनगुनाया होगा. लेकिन क्या आप जानते…
श्याम बेनेगल को भारत सरकार द्वारा 1976 में पद्मश्री और 1991 में पद्म भूषण से…
प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने इलेक्ट्रॉनिक मोड के माध्यम से शेष 35 आरोपियों को नोटिस जारी…
सीएम योगी आदित्यनाथ ने एयरपोर्ट पर तैयारियों का जायजा लिया. जनवरी के प्रथम सप्ताह तक…
पूर्व भारतीय क्रिकेटर विनोद कांबली की तबीयत अचानक खराब हो गई है. उनकी हालत काफी…
मकोका मामले में गिरफ्तार आप विधायक नरेश बालियान की जमानत याचिका पर राऊज एवेन्यु कोर्ट…