पीपुल्स कॉन्फ्रेंस (PC) के अध्यक्ष सज्जाद गनी लोन ने गुरुवार को अनुच्छेद 370 की बहाली, जम्मू-कश्मीर में 2019 से पहले की स्थिति की बहाली और 1987 में हुए चुनावी धांधली की जांच के लिए न्यायिक आयोग गठित करने के लिए लड़ने का वादा किया. चुनावी घोषणापत्र जारी करते हुए सज्जाद लोन ने कहा कि पार्टी अनुच्छेद 370 और 35ए की बहाली और जम्मू-कश्मीर की 2019 से पहले की संवैधानिक स्थिति के लिए लड़ने के लिए प्रतिबद्ध है. इसने 1987 में चुनावी धांधली की जांच के लिए एक न्यायिक आयोग गठित करने का भी वादा किया, जिसे घाटी में आतंकवाद का एक कारण माना जाता है.
घोषणापत्र में कहा गया है, “हम जम्मू-कश्मीर की 2019 से पहले की संवैधानिक स्थिति को बहाल करने के लिए विधायी मंचों के भीतर और बाहर सभी प्रयासों का समर्थन करेंगे.” पीसी ने अनुच्छेद 370 को निरस्त करने को सुप्रीम कोर्ट में भी चुनौती दी थी. अपने घोषणापत्र में पार्टी ने कहा कि वह अनुच्छेद 370 की बहाली और राज्य का दर्जा वापस दिलाने के लिए सभी व्यापक उपाय करने की अपनी प्रतिबद्धता पर कायम है.
पार्टी ने कहा, “हम 1987 में लोकतंत्र की हत्या की जांच के लिए एक न्यायिक आयोग का गठन करेंगे और इसके अपराधियों को जवाबदेह ठहराएंगे. हमारा दृढ़ विश्वास है कि कश्मीर में आज भी व्याप्त प्रमुख सामाजिक-राजनीतिक अस्थिरता का स्रोत उस एक विनाशकारी घटना का परिणाम है. 1987 की महान लूट, हमारे अधिकारों, हमारे युवाओं, हमारे जीवन और हमारे सामूहिक भाग्य की लूट है, जिसका जवाब दिया जाना चाहिए. हमने सुरक्षा एजेंसियों द्वारा कश्मीर वासियों को ब्लैकलिस्ट करने की प्रथा को समाप्त करने का वादा किया है. उन्हें सरकारी नौकरी, पासपोर्ट और अनुबंध पाने से वंचित करने वाली प्रथा अमानवीय और खेदजनक है.”
घोषणापत्र में कहा गया है, “हम मनमाने ढंग से संपत्तियों की कुर्की, विध्वंसकारी अभियान और अनुचित बर्खास्तगी को समाप्त करने का प्रयास करेंगे. हम सार्वजनिक सुरक्षा अधिनियम (पीएसए) और अन्य कठोर कानूनों को निरस्त करने का प्रयास करेंगे, जिनका पिछले तीन दशकों में कश्मीरियों को दंडित करने के लिए अंधाधुंध इस्तेमाल किया गया है. हम कश्मीर वासियों से जुड़े लोकाचार की रक्षा के लिए 13 जुलाई को शहीद दिवस की छुट्टी फिर से शुरू करेंगे.”
पार्टी ने अपने घोषणापत्र में यह भी वादा किया है, “हम बीपीएल परिवारों को मुफ्त बिजली, गरीब निवासियों को भूमि स्वामित्व अधिकार, केसीसी ऋण माफ, फास्ट-ट्रैक भर्तियां, पुरानी पेंशन योजना को पुनर्जीवित करना, महिला आरईटी शिक्षकों के लिए स्थानांतरण नीति प्रदान करेंगे.”
उल्लेखनीय है कि सज्जाद गनी लोन ने लोकसभा चुनाव लड़ा लेकिन तीसरे स्थान पर रहे. जेल में बंद इंजीनियर राशिद ने बारामूला लोकसभा क्षेत्र में उमर अब्दुल्ला और सज्जाद गनी लोन को हराया. उस समय लोन की पार्टी नेशनल कॉन्फ्रेंस के अध्यक्ष डॉ. फारूक अब्दुल्ला की अगुवाई वाले पीपुल्स अलायंस फॉर गुपकार डिक्लेरेशन (पीएजीडी) का हिस्सा थी. हालांकि, पीसी प्रमुख ने घटक दलों के साथ मतभेद होने के बाद गठबंधन छोड़ दिया.
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-आईएएनएस
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