नवीनतम

Ashutosh Rana Birthday: जब महेश भट्ट ने आशुतोष को सेट से धक्के मारकर किया था बाहर

आशुतोष राणा भी बॉलीवुड के उन चुनिंदा कलाकारों एक्टर्स में से हैं जिन्हें वर्सेटाइल एक्टर कहा जाता है. इसकी वजह उनके फिल्मों में निभाए गए अलग अलग किरदार हैं जिनके जरिए आशुतोष राणा ने अपने प्रशंसकों के दिलों में खासी छाप छोड़ी है. आज बॉलीवुड एक्टर आशुतोष राणा का जन्म दिन है और आज वो 55 साल के हो गए हैं.

10 नवंबर 1967 को नरसिंहपुर जिले के गाडरवारा में जन्मे आशुतोष राणा हिन्दी के साथ ही मराठी, कन्नड, तेलुगू और तमिल फिल्मों में भी काम कर चुके हैं और कर रहे हैं. साल 1999 में आई फिल्म दुश्मन और साल 2000 में आई फिल्म संघर्ष के लिए उन्हें फिल्मफेयर सर्वश्रेष्ठ खलनायक अवॉर्ड मिल चुका है.

आशुतोष राणा की कैसे हुई सिनेमा में एंट्री

आशुतोष राणा और महेश भट्ट के बीच के इस किस्से को जानने से पहले आपको अभिनेता के सिनेमा जगत में एंट्री के पीछे की वजह बता देते हैं. आशुतोष सिनेमा जगत में अपने गुरु के कहने पर आए थे और उन्होंने ही आशुतोष को महेश भट्ट से मिलने की सलाह दी थी और उनके पहले प्रोजेक्ट के बारे में भी बताया था. उन्होंने कहा था कि आशुतोष का पहला प्रोजेक्ट ‘एस’ अक्षर से शुरू होगा. इसके बाद आशुतोष बिना कुछ सोचे समझे सीधा मुंबई आ गए और यहां पर उन्हें ‘स्वाभिमान’ सीरियल मिला, जिसके बाद अभिनेता ने कई सीरियल और फिल्मों में काम किया.

जब सेट से निकाला गया

आशुतोष राणा ने मनोरंजन जगत में सीरियल ‘स्वाभिमान’ से कदम रखा. लेकिन उन्हें पहचान फिल्म ‘दुश्मन’ से मिली. इस फिल्म में उनके किरदार ने हर किसी के रोंगटे खड़े कर दिए थे. आशुतोष ने अपने अब तक के करियर में कई बेहतरीन फिल्मों में काम किया है. लेकिन क्या आप जानते हैं कि एक ऐसा समय भी था जब अभिनेता को महेश भट्ट के सेट से धक्के मारकर निकाल दिया गया था.

बता दें कि इस बात का खुलासा अभिनेता ने ही अपने इंटरव्यू में किया था. अभिनेता ने बताया था कि एक बार वह फिल्म निर्माता-निर्देशक महेश भट्ट से मिलने गए थे. तब उन्होंने महेश भट्ट के पांव छू लिए थे. पांव छूते ही वह भड़क उठे क्योंकि उन्हें पैर छूने वाले इंसान पसंद नहीं थे. इसलिए उन्होंने आशुतोष को सेट से बाहर निकलवा दिया और फिल्म के सेट पर मौजूद लोगों पर भी काफी गुस्सा हुए कि उन्होंने कैसे उसे सेट पर घुसने दिया.

नरसिंहपुर के गाडरवारा में जन्मे आशुतोष राणा की जिंदगी भी किसी फिल्मी कहानी से कम नहीं है.  छोटे सी जगह से देश की मायानगरी मुंबई तक का सफर और अपना अलग मुकाम हासिल करने वाले एक्टर आशुतोष राणा आज भी अपनी मिट्टी से जुड़े हुए हैं.

गाडरवारा से उनका खास लगाव है और वो जब भी समय मिलता है गाडरवारा जरूर आते हैं.  गाडरवारा से अपने खास लगाव की बात उन्होंने कई मंचों से ये कहकर भी साझा की है कि अपनी जड़ों से इंसान को हमेशा जुड़ा रहना चाहिए.

आशुतोष राणा जितने अच्छे एक्टर हैं उतने ही अच्छे वक्ता और लेखक भी हैं. ठेठ बुंदेली अंदाज और कड़क आवाज में उनके कविता पाठ के भी देश में लाखों लोग दीवाने हैं. उनकी लिखी गईं किताबें ‘मौन मुस्कान की मार’ और ‘रामराज्य’ हैं जिन्हें लोगों ने काफी पसंद किया है.

-भारत एक्सप्रेस

Bharat Express

Recent Posts

दिल्ली हाईकोर्ट ने RSS सदस्य शांतनु सिन्हा पर दर्ज मानहानि के मामले में BJP नेता अमित मालवीय को नोटिस जारी कर मांगा जवाब

RSS सदस्य शांतनु सिन्हा द्वारा अमित मालवीय के खिलाफ ‘बंगाली’ में एक फेसबुक पोस्ट किया…

7 hours ago

अफगानिस्तान में महिलाएं क्यों नारकीय जीवन जीने के लिए अभिशप्त हैं?

महिलाओं के खिलाफ घिनौने कृत्य अनंत काल से होते आ रहे हैं और ये आज…

7 hours ago

दिल्ली हाईकोर्ट ने चांदनी चौक के आसपास के क्षेत्रों से अवैध गतिविधियों को हटाने का दिया निर्देश

पीठ चांदनी चौक सर्व व्यापार मंडल द्वारा दायर जनहित याचिका पर विचार कर रहा है,…

7 hours ago

PM Modi’s Gifts: Global Diplomacy में भारत की सांस्कृतिक धरोहर की झलक, राज्यों से भेजे गए ये उपहार

देश के विभिन्‍न राज्‍यों में तैयार किए गए गिफ्ट प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अंतर्राष्ट्रीय यात्राओं…

9 hours ago

जब एक हाथी को भीड़ के सामने दे दी गई थी फांसी, अमेरिका का ये काला इतिहास आपको झकझोर देगा

एक बेघर व्यक्ति को मारने के बदले में भीड़ ने तय किया कि हाथिनी मैरी…

10 hours ago