Earthquake in Turkey: टर्की और सीरिया में आये विनाशकारी भूकंप ने अब तक 11 हजार से अधिक लोगों की जान ले ली है. AFP के मुताबिक, घायलों की संख्या बढ़कर 40 हजार से अधिक हो गई है. भूकंप ने टर्की और सीरिया में बड़े पैमाने पर नुकसान पहुंचाया है, जिसके बाद भारत समेत 50 से अधिक देश उनकी मदद को आगे आए हैं. विनाशकारी भूकंप से प्रभावित टर्की के दूर-दराज वाले इलाकों में 10 भारताीय फंसे हुए हैं, लेकिन वे सुरक्षित हैं, जबकि एक नागरिक अभी लापता है. विदेश मंत्रालय ने बुधवार को इसकी जानकारी दी.
विदेश मंत्रालय के सचिव (पश्चिम) संजय वर्मा ने बताया कि टर्की में भारतीय अपेक्षाकृत सुरक्षित हैं. उन्होंने कहा कि सरकार तुर्की में लापता भारतीय के परिवार के सदस्यों के संपर्क में है. भारत चार सैन्य परिवहन विमानों में तुर्किये को राहत सामग्री भेज चुका है.
टर्की और सीरिया में भीषण भूकंप के बाद बचाव कार्य जोरों पर है. बचावकर्मी हजारों ध्वस्त इमारतों के मलबे के नीचे दबे शवों को बाहर निकाल रहे हैं. हालांकि, मलबे में फंसे किसी व्यक्ति के जीवित मिलने के बाद इस कवायद में कुछ रूकावट पड़ जाती है. दोनों देशों में अब तक 11000 से ज्यादा लोगों की मौत होने की पुष्टि की गई है.
आपदा प्रभावित क्षेत्र में सरकार से और अधिक मदद की गुहार के बीच राष्ट्रपति रजब तैयब एर्दोआन भूकंप का केन्द्र रहे पजारकिक और आपदा से सबसे ज्यादा प्रभावित हाते प्रांत का दौरा करने वाले हैं. टर्की में फिलहाल करीब 60,000 बचावकर्मी भूकंप प्रभावित क्षेत्र में बचाव कार्य कर रहे हैं, लेकिन आपदा से प्रभावित इलाके का क्षेत्रफल इतना बड़ा है कि कई लोगों को अब भी सहायता का इंतजार है. दक्षिण-पूर्वी टर्की और उत्तरी सीरिया में 7.8 तीव्रता का भूकंप आने के दो दिन बाद भूकंप के अधिकेन्द्र से बहुत दूर स्थित कहरमानमरास शहर में ढही एक इमारत के मलबे से आरिफ खान नाम के तीन साल के बच्चे को सुरक्षित बाहर निकाला गया है.
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आरिफ के शरीर का निचला हिस्सा कंक्रीट के ‘स्लैब’ के नीचे दबा हुआ था और वह एक मुड़ी हुई सरिया में फंसा हुआ था. बचावकर्मियों ने ठंड से बचाव के लिए उसे मोटे कंबलों से ढंका और फिर बेहद सावधानी से सरिया काटकर उसे बाहर निकाला. अपने बेटे से कुछ देर पहले ही मलबे से बाहर निकाले गए एर्तुग्रुल किसी बच्चे को मलबे से सुरक्षित बाहर निकाले जाते और उसे एम्बुलेंस में ले जाते हुए देखकर रो पड़े.
-भारत एक्सप्रेस
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