
नई दिल्ली, 23 मई 2025। सीबीआई ने अंतरराष्ट्रीय अपराध नियंत्रण के तहत एक बड़ी सफलता हासिल की है. भारत के नागरिक अंगद सिंह चंधोक को अमेरिका से सफलतापूर्वक प्रत्यर्पित कर भारत लाया गया है. चंधोक पर करोड़ों रुपये के टेक सपोर्ट फ्रॉड का आरोप है, जिसमें उन्होंने अमेरिका के वरिष्ठ नागरिकों को निशाना बनाया था.
सीबीआई के मुताबिक, अंगद सिंह चंधोक ने कई शेल कंपनियों का उपयोग करते हुए ऑनलाइन तकनीकी सहायता का झांसा देकर अमेरिकी नागरिकों से भारी रकम ठगी. वह और उसके साथी खुद को टेक सपोर्ट एजेंट्स बताकर लोगों को तकनीकी दिक्कतों की झूठी जानकारी देते थे और फिर उन्हें ठीक करने के नाम पर पैसे ऐंठते थे.
अमेरिका में हो चुकी है सजा
अमेरिका के न्याय विभाग (Department of Justice) द्वारा मार्च 2022 में जारी एक प्रेस बयान के अनुसार, अंगद सिंह चंधोक को इस धोखाधड़ी में दोषी ठहराया गया था और छह साल की जेल की सजा सुनाई गई थी. अदालत ने माना कि चंधोक और उसकी टीम ने जानबूझकर बुजुर्ग अमेरिकी नागरिकों को निशाना बनाया और मल्टी मिलियन डॉलर का घोटाला किया.
भारत लाने की प्रक्रिया
CBI ने अमेरिका के कानून प्रवर्तन एजेंसियों के साथ मिलकर लंबे समय तक काम किया और अंततः प्रत्यर्पण प्रक्रिया पूरी कर चंधोक को भारत लाया गया. उसके खिलाफ भारत में भी मामले दर्ज हैं, और अब यहां की अदालतों में आगे की कार्रवाई की जाएगी.
साइबर अपराध पर बड़ा संदेश
यह प्रत्यर्पण न केवल CBI की कूटनीतिक और तकनीकी दक्षता का प्रमाण है, बल्कि यह भी संकेत है कि सीमा पार साइबर अपराध करने वालों को अब सुरक्षित पनाह नहीं मिलेगी. यह कार्रवाई अंतरराष्ट्रीय सहयोग की मिसाल है, जो भारत को साइबर ठगों के खिलाफ मजबूती से खड़ा करता है. CBI ने यह भी संकेत दिए हैं कि अंगद सिंह चंधोक से पूछताछ कर भारत में सक्रिय साइबर फ्रॉड नेटवर्क के बारे में और जानकारी जुटाई जाएगी. आने वाले दिनों में इससे और गिरफ्तारियों की संभावना जताई जा रही है.
-भारत एक्सप्रेस
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