
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह.

Rajnath Singh At Srinagar Air Base: रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने आज जम्मू-कश्मीर के श्रीनगर एयर बेस का दौरा किया और भारतीय वायु सेना (IAF) के जवानों से मुलाकात की. इस दौरान उनके साथ जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा और मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला भी मौजूद रहे.
राजनाथ सिंह ने अपने संबोधन में पाकिस्तान की परमाणु हथियारों को संभालने की क्षमता पर सवाल उठाया. श्रीनगर एयर बेस पर कुछ ही देर पहले राजनाथ सिंह ने कहा, “पूरी दुनिया ने यह देखा है कि पाकिस्तान ने कितने गैर-जिम्मेदाराना तरीके से भारत को न्यूक्लियर अटैक की धमकी दी. आज श्रीनगर की धरती से मैं यह सवाल उठाता हूं कि क्या ऐसे दुष्ट राष्ट्र के पास परमाणु हथियार सुरक्षित हैं? मैं मानता हूं कि पाकिस्तान के परमाणु हथियारों को अंतरराष्ट्रीय परमाणु ऊर्जा एजेंसी (IAEA) की निगरानी में लिया जाना चाहिए.”
ऑपरेशन सिंदूर आतंकवाद के ख़िलाफ़ भारत द्वारा चलाई गई, अब तक के इतिहास की सबसे बड़ी कार्रवाई है। पैंतीस-चालीस वर्षों से भारत सरहद पार से चलाये जा रही आतंकवाद का सामना कर रहा है। आज भारत ने पूरी दुनिया के सामने स्पष्ट कर दिया है कि आतंकवाद के ख़िलाफ़ हम किसी भी हद तक जा सकते हैं।… pic.twitter.com/QjDHAkLouX
— Rajnath Singh (@rajnathsingh) May 15, 2025
‘हमारे करारे जवाब को दुश्मन कभी नहीं भूल पाएगा’
राजनाथ सिंह ने ऑपरेशन सिंदूर के तहत पाकिस्तानी चौकियों को नष्ट करने के लिए भारतीय सेना की प्रशंसा भी की. उन्होंने कहा, “पहलगाम हमले के बाद जम्मू-कश्मीर के लोगों ने जिस तरह पाकिस्तान और आतंकवादियों के खिलाफ गुस्सा जाहिर किया, मैं उन्हें भी सलाम करता हूं. आपने जिस तरह सीमा पार पाकिस्तानी चौकियों और बंकरों को नष्ट किया, दुश्मन इसे कभी नहीं भूल पाएगा.” उन्होंने पाकिस्तान द्वारा सीमा पार से की गई गोलीबारी के दौरान इस्तेमाल किए गए गोले भी देखे.
‘वंदे मातरम’, ‘भारत माता की जय’ के नारों की गूंज
इस दौरान जवानों ने ‘वंदे मातरम’ और ‘भारत माता की जय’ के नारे लगाकर रक्षा मंत्री का स्वागत किया. रक्षा मंत्री ने श्रीनगर के बदामी बाग कैंटोनमेंट में सैनिकों से भी मुलाकात की और ऑपरेशन सिंदूर के दौरान उनकी बहादुरी की सराहना की. उन्होंने जवानों के कंधे थपथपाए और हाथ मिलाकर उनका हौसला बढ़ाया.
ऑपरेशन सिंदूर से पाक में आतंकी ठिकाने ध्वस्त हुए
भारत का ऑपरेशन सिंदूर 7 मई की रात को शुरू किया गया था, जो 22 अप्रैल को पहलगाम में हुए आतंकी हमले का जवाब था, जिसमें 26 लोग मारे गए थे. इस ऑपरेशन में भारतीय सशस्त्र बलों ने पाकिस्तान और पाकिस्तान अधिकृत जम्मू-कश्मीर में आतंकी ढांचों को निशाना बनाया, जिसमें जैश-ए-मोहम्मद, लश्कर-ए-तैयबा और हिजबुल मुजाहिदीन से जुड़े 100 से अधिक आतंकवादी मारे गए. इसके बाद पाकिस्तान ने सीमा पार गोलीबारी और ड्रोन हमलों की कोशिश की, लेकिन भारत ने जवाबी कार्रवाई में पाकिस्तान के 11 हवाई अड्डों पर रडार, संचार केंद्र और हवाई क्षेत्रों को नष्ट कर दिया. 10 मई को दोनों देशों के बीच युद्धविराम की घोषणा हुई.
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