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Spirituality

बिहार के लोगों के लिए खास महत्व रखने वाले यह पर्व चार दिनों तक मनाया जाता है. छठ पर्व के पहले दिन को नहाए-खाए कहा जाता है इसके बाद खरना फिर तीसरे दिन संध्या अर्घ्य और आखिरी दिन उषा अर्घ्य (सुबह का अर्घ्य) कहा जाता है.

इस तरह बाइबिल के ही उदाहरणों से लेखक ने बार-बार पॉल के सिद्धांतों और मान्यताओं को ग़लत सिद्ध करने का प्रयास किया है। लेखक ईसाई धर्म गुरुओं को इस विषय में उससे शास्त्रार्थ करने की खुली चुनौती भी देता है।