अयोध्या में स्थापित किया गया पोर्टेबल अस्पताल
Ayodhya: अयोध्या में बन रहे राम मंदिर का उद्घाटन 22 जनवरी को पीएम मोदी के हाथों होगा. इसके साथ ही भगवान राम की प्रतिमा की प्राण प्रतिष्ठा भी इसी दिन की जाएगी. समारोह को लेकर युद्ध स्तर पर तैयारियां की जा रही हैं. उद्घाटन समारोह में 8 हजार वीवीआईपी को न्योता भेजा गया है. ऐसे में किसी भी आपात स्थिति से निपटने को लेकर भी शासन स्तर पर तैयारियां की जा रही है. इसी कड़ी में केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय की ओर से पोर्टेबल अस्पताल भीष्म की स्थापना की गई है.
स्वदेशी पोर्टेबल अस्पताल भीष्म स्थापित
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा कि वह किसी भी आकस्मिक स्थिति से निपटने के लिए व्यापक चिकित्सकीय तैयारी और प्रतिक्रिया योजना बनाने के वास्ते उत्तर प्रदेश सरकार के साथ मिलकर काम कर रहा है. अयोध्या में अपनी तरह का पहला ‘आरोग्य मैत्री डिजास्टर मैनेजमेंट क्यूब’- भीष्म (स्वदेशी पोर्टेबल अस्पताल) स्थापित किया गया है जो आपदा प्रतिक्रिया और चिकित्सा सहयोग के लिए कई नवोन्मेषी उपकरणों से लैस है.
8 हजार VVIP को किया गया है आमंत्रित
स्वास्थ्य मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि इससे प्रभावी समन्वय, वास्तविक समय में निगरानी और चिकित्सा सेवाओं के प्रभावी प्रबंधन में मदद मिलेगी. स्वास्थ्य मंत्रालय को उम्मीद है कि हजारों श्रद्धालु और तकरीबन 8,000 आमंत्रित अतिथि अयोध्या पहुंच सकते हैं. प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी अयोध्या में राम मंदिर प्राण प्रतिष्ठा समारोह में हिस्सा लेंगे.
लाखों भक्त पहुंचेंगे अयोध्या
आधिरकारिक बयान में कहा गया है कि इस ऐतिहासिक कार्यक्रम का लाखों श्रद्धालुओं के लिए काफी महत्व है जिससे वहां आने वाले सभी लोगों की कुशलक्षेम के लिए मजबूत स्वास्थ्य देखभाल संबंधी उपाय उठाना आवश्यक हो गया है. इसमें कहा गया है कि योगी आदित्यनाथ सरकार विभिन्न उपायों के जरिए मौजूदा चिकित्सा बुनियादी ढांचे को मजबूत कर रही है. इनमें मेला क्षेत्र में एक नियंत्रण कक्ष, 16 प्राथमिक चिकित्सा बूथ और दो अस्थायी फील्ड अस्पताल स्थापित करना शामिल हैं. इसमें तुलसी उद्यान में 20 बिस्तरों का अस्पताल और टेंट सिटी में 10 बिस्तरों का अस्पताल शामिल है. ये अस्पताल चौबीसों घंटे काम करेंगे.
स्वास्थ्य मंत्रालय के स्वास्थ्य सेवाओं के सचिव और महानिदेशक ने चिकित्सा बुनियादी ढांचे का आकलन करने के लिए हाल में अयोध्या का दौरा किया. बयान में कहा गया है कि इस दौरान किसी भी अप्रत्याशित आपात स्थिति से निपटने के लिए दिल्ली, उत्तर प्रदेश और पड़ोसी राज्यों में केंद्र सरकार के अस्पताल सतर्क रहेंगे.
-भारत एक्सप्रेस
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