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उद्योग जगत के दिग्गजों ने रखे विचार- भारत दुनिया की अगली फैक्ट्री बनने की ओर बढ़ रहा, पीएम मोदी ने मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर में जोश वापस लाया

मर्सिडीज बेंज (Mercedes Benz) समूह के बोर्ड सदस्य जोर्ग ब्यूरर (Jorg Burger) ने कहा कि कंपनी का लक्ष्य भारत में घरेलू बाजार के लिए उत्पादन करना और धीरे-धीरे निर्यात के लिए उत्पादन बढ़ाना है.

टीवी9 समूह के प्रमुख मेगा विचार कार्यक्रम न्यूज9 ग्लोबल समिट में कई विचारों का आदान-प्रदान हुआ, जिसमें चीन+1 रणनीति के तहत मोदी सरकार के मेक इन इंडिया को बढ़ावा देने के लक्ष्य से साथ-साथ लाभ उठाने के तरीके पर चर्चा की गई. इस बात को ध्यान में रखते हुए कि दुनिया अब अपनी सप्लाई चेन में विविधता ला रही है.

टीवी9 नेटवर्क के एमडी और सीईओ बरुन दास (Barun Das) ने कहा कि यह शिखर सम्मेलन भारत और जर्मनी के लिए अपने ऐतिहासिक संबंधों को मजबूत करने और भविष्य में समृद्धि का मार्ग बनाने का एक मंच है.

भारत जर्मनी से सीख सकता है

भारत फोर्जिंग (Bharat Forgings) के चेयरपर्सन बाबा कल्याणी (Baba Kalyani) ने भारत: दुनिया की अगली फैक्ट्री (India: The Next Factory of The World) पर कार्यक्रम के दौरान मैन्युफैक्चरिंग, फोर्जिंग और इंजीनियरिंग के प्रतीक के रूप में जर्मनी का उदाहरण दिया. कारों से लेकर मशीन टूल्स और अन्य उपकरणों तक के लिए जर्मनी पर भारत के लोग आंख मूंदकर भरोसा करते हैं.

उन्होंने कहा कि भारत जर्मनी से सीख सकता है कि उत्पाद राष्ट्र कैसे बनें, क्योंकि भारत में उत्पाद राष्ट्र बनने के लिए सभी जरूरी चीजें, जैसे महत्वाकांक्षा, संसाधनों की उपलब्धता और बढ़ता हुआ बाजार, मौजूद हैं, लेकिन इनमें आकर्षण का अभाव है. कल्याणी ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी कमियों को दूर करने और मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर में जोश वापस लाने में सक्षम हैं.

10 वर्षों में 9 गुना वृद्धि की उम्मीद

मारुति सुजुकी (Maruti Suzuki) के कार्यकारी निदेशक राहुल भारती (Rahul Bharti) ने कहा कि कंपनी 10 वर्षों में 9 गुना वृद्धि की उम्मीद कर रही है. कंपनियां निर्यात बाजार में अधिक हिस्सेदारी का लक्ष्य रख सकती हैं, क्योंकि ऑफर को हमेशा बढ़ाने का अवसर रहता है. उन्होंने कहा कि भारत को विकासशील देश से विकसित देश में बदलने के लिए मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर को अच्छे से पहचान लिया गया है.

बिजली की लागतें मेक इन इंडिया में बाधा

एसोचैम (Assocham) के अध्यक्ष संजय नायर (Sanjay Nayar) ने आगाह किया कि भले ही जोश वापस आ गया है, लेकिन लॉजिस्टिक्स, कनेक्टिविटी और बिजली की लागतें मेक इन इंडिया के मार्ग में बाधाएं खड़ी कर रही हैं. उन्होंने पीएम गति शक्ति के साथ इस पहलू पर ध्यान केंद्रित करने के लिए सरकार की प्रशंसा की और साथ ही आशा किया कि भारत मैन्युफैक्चरिंग हब के रूप में विकसीत होगा.

मर्सिडीज बेंज (Mercedes Benz) समूह के बोर्ड सदस्य जोर्ग ब्यूरर (Jorg Burger) ने कहा कि लग्जरी कार निर्माता का लक्ष्य भारत में घरेलू बाजार के लिए उत्पादन करना और धीरे-धीरे निर्यात के लिए उत्पादन बढ़ाना है. कंपनी ने यह मॉडल पहले अमेरिका, चीन और दक्षिण अफ्रीका में अपनाया था.

-भारत एक्सप्रेस



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