आखिर क्यों सृष्टि के रचयिता ब्रह्मदेव की पूजा नहीं होती है? यहां जानिए इसकी वजह
Jammu Kashmir: 23 मई को जम्मू कश्मीर में जी-20 की बैठक होने वाली है. जिसको लेकर तैयारियां जोरो-शोरो से चल रही हैं. 2019 में विशेष संवैधानिक दर्जा (Article 370 ) हटने के बाद कश्मीर में पहली इंटरनेशनल समिट (International Summit) हो रही है. इसमें जी-20 सदस्य देशों, अतिथि देशों और कई अंतरराष्ट्रीय संगठनों के प्रतिनिधि भाग लेंगे. वहीं G-20 के तीसरे वर्किंग ग्रुप की बैठक का महत्व कश्मीर में पर्यटनों अच्छी व्यवस्थाएं देने का है.
भारत की तरफ से जी-20 बैठक कश्मीर में कराना ही वैश्विक स्तर पर बड़ा फैसला है. भारत ने कहा है कि कश्मीर में अब कोई विवाद नहीं है. यह भारत का अभिन्न अंग है. वहीं, दुनिया के सबसे ताकतवर क्लब G-20 की बैठक को भारत के रुख के समर्थन के तौर पर देखा जा सकता है.
बता दें कि कश्मीर अपनी लुभावनी सुंदरता के लिए भी जाना जाता है. स्वाभाविक रूप से श्रीनगर के अलावा पर्यटन कार्य समूह की बैठक आयोजित करने से बेहतर क्या हो सकता था ? श्रीनगर में बैठक कर भारत इस जगह की स्थिरता को लेकर वैश्विक समुदाय को कड़ा संदेश भी देना चाहता है. यह जम्मू-कश्मीर के शांतिपूर्ण माहौल के चित्रित को भी दर्शाएगा. आर्टिकल 370 के निरस्त होने के बाद केंद्र सरकार ने घाटी में विदेशी राजनयिकों को चार यात्राओं की सुविधा दी है.
वहीं एक रिपोर्ट के मुताबिक, श्रीनगर में चल रही स्मार्ट सिटी परियोजना के कुछ घटकों में बदलाव किया गया है, कॉन्ट्रैक्ट पर फिर से काम किया जा रहा है और समय सीमा एक या दो महीने आगे बढ़ा दी गई है. ताकि उन्हें 22 से 24 मई के बीच होने वाली जी20 पर्यटन कार्य समूह की बैठक से पहले पूरा किया जा सके.
यह भी पढ़ें- G-20 बैठक के लिए कश्मीर घाटी में तैयारियों को दिया जा रहा अंतिम रूप, सुरक्षा में तैनात होंगे NSG कमांडो
जम्मू-कश्मीर के पर्यटन सचिव सैयद आबिद रशीद ने कहा- “तैयारी जोरों पर चल रही हैं. श्रीनगर G-20 प्रतिनिधियों के स्वागत के लिए खुद को तैयार कर रहा है. उन्होंने कहा- यह सभी के लिए बड़ा अवसर है. मैं इस अवसर पर आपके माध्यम से देश के बाकी हिस्सों से सभी को आमंत्रित करना चाहता हूं”.
यह भी पढ़ें- G-20 बैठक के लिए कश्मीर घाटी में तैयारियों को दिया जा रहा अंतिम रूप, सुरक्षा में तैनात होंगे NSG कमांडो
कश्मीर में G-20 बैठक के लिए श्रीनगर में एक बड़ा बदलाव किया जा रहा है. यहां फुटपाथ और साइकिल ट्रैक बनाए जा रहे हैं. यहां तक कि झेलम नदी के किनारे के हरे भरे स्थानों को कंक्रीट के जंगलों में बदल दिया गया है. निवासियों को मुख्य सड़कों के किनारे स्थित अपने घरों और संपत्तियों के फ्रंट एरिया में सुधार करना है.
वहीं कश्मीर में जी-20 की बैठक को इस रूप में भी देखा जा रहा है कि कश्मीर अशांति की छाया से बाहर आ रहा है. इसके साथ ही साथ ही पाकिस्तान के प्रभाव से अलग हो रहा है. श्रीनगर में जी-20 की बैठक में लगभग 50 प्रतिनिधियों के भाग लेने की उम्मीद है, जो भारत को कश्मीर घाटी में मानवाधिकारों के उल्लंघन के पाकिस्तान के दावों का खंडन करने की अनुमति देगा.
RSS सदस्य शांतनु सिन्हा द्वारा अमित मालवीय के खिलाफ ‘बंगाली’ में एक फेसबुक पोस्ट किया…
गुयाना से भारत लौटने के बाद पीएम मोदी सोशल मीडिया प्लेटफार्म X पर एक पोस्ट…
महिलाओं के खिलाफ घिनौने कृत्य अनंत काल से होते आ रहे हैं और ये आज…
पीठ चांदनी चौक सर्व व्यापार मंडल द्वारा दायर जनहित याचिका पर विचार कर रहा है,…
देश के विभिन्न राज्यों में तैयार किए गए गिफ्ट प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अंतर्राष्ट्रीय यात्राओं…
एक बेघर व्यक्ति को मारने के बदले में भीड़ ने तय किया कि हाथिनी मैरी…