गुजरात यूनिवर्सिटी के परिसर में एनबीटी की विशेष कार्यशाला.
India News: भारत सरकार के नेशनल बुक ट्रस्ट ऑफ इंडिया (NBT) ने गुजरात विश्वविद्यालय (अहमदाबाद) के भाषा साहित्य भवन में गुजराती बाल साहित्य अनुवाद कार्यशाला आयोजित कराई. इस कार्यशाला के उद्घाटन समारोह में कुलपति डॉ. नीरजा ए. गुप्ता ने दर्शकों के समक्ष वक्तव्य दिया. इस दौरान गुजराती भाषा के बड़े-बड़े विद्वान, साहित्यकार, लेखक और अनुवादक उपस्थित रहे.
गुजराती बाल साहित्य अनुवाद कार्यशाला का शुभारंभ करते हुए डॉ. नीरजा ए. गुप्ता ने कहा, “अनुवादक की भूमिका अहम है. इसलिए उसकी जिम्मेदारी भी विशेष हो जाती है. अनुवादक एक भाषा के साहित्य को दूसरी भाषा में अनुवाद करने के दौरान उस भाषा के भाव और संस्कृति का भी ध्यान रखता है.” उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि अनुवाद में अधिक सटीकता और एकाग्रता की आवश्यकता होती है.
19 से 26 सितंबर तक आयोजित होगी कार्यशाला
इस अवसर पर नेशनल बुक ट्रस्ट-इंडिया (NBT) के संपादक और इस कार्यशाला के समन्वयक भाग्येन्द्र पटेल ने कहा कि NBT ऐसी कार्यशालाओं से माध्यम से भारत की विभिन्न भाषाओं में साहित्य को अनुवादित करने का कार्य कर रहा है. उन्होंने बताया कि 19 से 26 सितंबर तक आयोजित हो रही इस कार्यशाला में बाल साहित्य की पुस्तकों का अनुवाद किया जाएगा और अनुवादित पुस्तकें शीघ्र जनमानस के मध्य होंगी. उन्होंने बताया कि इस कार्यशाला में गुजराती भाषा के विद्वानों का लक्ष्य 60 से अधिक शीर्षकों का अंग्रेजी और हिंदी से गुजराती भाषा में अनुवाद करना है.
गुजराती भाषा के प्रसिद्ध बाल साहित्यकार और लेखक यशवंत मेहता ने भी अपने विचार व्यक्त करते हुए राष्ट्रीय पुस्तक न्यास की सभी भाषाओं में साहित्य उपलब्ध कराने की सराहना की. इस अवसर पर भाषा विभाग की निदेशक दर्शना भट्ट भी उपस्थित थीं.
70 से अधिक भाषाओं में पब्लिश हो रहीं पुस्तकें
नेशनल बुक ट्रस्ट-इंडिया (NBT) के पदाधिकारी ने बताया कि वे देश 70 से अधिक भाषाओं में पुस्तकों को प्रकाशित करते हैं. देश के नॉलेज पार्टनर के रूप में NBT समाज में पठन संस्कृति को बढ़ावा देने के लिए प्रयासरत है.
— भारत एक्सप्रेस
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