शरद पवार और अजित पवार (फोटो फाइल)
Sharad Pawar Politics: महाराष्ट्र की राजनीति में मचा सियासी तूफान भले ही थम गया हो, लेकिन राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) के चीफ शरद पवार के तेवर अभी नरम नहीं पड़े हैं. शरद पवार एक ओर जहां अपनी पार्टी में मची फूट को लेकर भाजपा पर लाल-ताते हो रहे हैं, वहीं उन्होंने अपने आलोचकों को भी दो टूक जवाब दिया है. बुधवार को एनसीपी चीफ शरद पवार ने कांग्रेस नेता पृथ्वीराज चौहान के ऑफर वाले दावे पर जवाब दिया. उन्होंने इस दौरान डिप्टी सीएम देवेंद्र फडणवीस का भी जिक्र किया.
राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) के चीफ शरद पवार ने कांग्रेस नेता और पूर्व सीएम पृथ्वीराज चव्हाण के ऑफर वाले बयान को लेकर बुधवार (16 अगस्त) को पलटवार किया. शरद पवार ने कहा, ”कांग्रेस के नेता अगर कोई बयान दे रहे हैं तो मुझे इसकी जानकारी नहीं, लेकिन अजित पवार से मीटिंग के दौरान किसी ऑफर पर बात नही हुई है.” शरद ने दावा किया कि उनके भतीजे अजित पवार ने बैठक के दौरान ऐसी कोई बात नहीं बोली. बता दें कि उनके भतीजे अजित पवार अब महाराष्ट्र के दूसरे डिप्टी सीएम हैं.
फडणवीस को बोले शरद- क्यों मुख्यमंत्री नहीं बने?
शरद पवार ने महाराष्ट्र के डिप्टी सीएम देवेंद्र फडणवीस पर भी तंज कसा. उन्होंने कहा कि ”देवेंद्र फडणवीस कह रहे थे कि वो फिर से आएंगे, लेकिन आए दूसरे पद पर…मुख्यमंत्री नहीं बने…उपमुख्यमंत्री बनना पड़ा.” इसके बाद शरद पवार ने महाराष्ट्र की सत्तारूढ़ पार्टी बीजेपी पर निशाना साधते हुए कहा कि वो लोगों को बांट रही है. शरद पवार ने कहा, ”देश की सत्ता बीजेपी और उसके सहयोगियों के हाथ में है. उनकी भूमिका समाज में एकता बनाए रखने की है, लेकिन वे लोगों को बांट रहे हैं.”
पृथ्वीराज ने कहा- दो ऑफर दिए गए थे
हिंदुस्तान टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबिक, पूर्व सीएम पृथ्वीराज चव्हाण ने दावा किया था कि अजित पवार ने अपने चाचा शरद पवार को मुलाकात के दौरान भाजपा के साथ आने का ऑफर दिया है. उन्होंने कहा, ”अजित पवार ने शरद पवार को दो ऑफर दिए. इसमें पहला था कि वो केंद्र में कृषि मंत्री बन जाएं या फिर नीति आयोग के चेयरमैन का पद संभाल लें.” हालांकि, शरद पवार ने इन दोनों बातों का खंडन किया है.
इससे पहले शनिवार को पुणे में एक कारोबारी के आवास पर शरद पवार और अजित पवार के बीच मुलाकात हुई थी. और, चौंकाने वाली बात यह है कि दोनों नेताओं की एनसीपी में टूट के बाद चार बार मुलाकात हो चुकी है. इन मुलाकातों ने महाविकास अघाडी (MVA) के नेताओं को संशय में डाल दिया है. सियासत के कुछ जानकार ये मान रहे हैं कि एमवीए का गठबंधन टूट सकता है. हालांकि, कांग्रेस और उद्धव ठाकरे की शिवसेना की तरफ से एनसीपी को अलग करके चुनाव लड़ने की अटकलों पर शऱद पवार का कहना है कि ऐसा कुछ भी नही है.
— भारत एक्सप्रेस
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