कैबिनेट मंत्री नन्द गोपाल गुप्ता नन्दी
UP Politics: केद्र की भाजपा सरकार के खिलाफ बिहार की राजधानी पटना में 23 जून को होने वाली विपक्षी दलों की बैठक पर सीएम योगी के मंत्री नन्द गोपाल गुप्ता नन्दी ने निशाना साधा है. नंदी ने कहा है कि अमेरिका में भारत की साख का डंका बज रहा है, तो विपक्ष पटना में बेसुरी ढपली बजाने जा रहा है.
योगी सरकार में मंत्री नन्दी ने ट्वीट करते हुए विपक्षी दलों की सांप-नेवले से तुलना करते हुए कहा, “सांप-नेवले, बिल्ली-दूध, आग-पानी को आपस में गले मिलते देखना है तो कल पटना की ओर देखिये.” 23 जून को बिहार की राजधानी पटना में भाजपा सरकार के खिलाफ विपक्षी दलों की बैठक होने जा रही है, इसमें अखिलेश यादव से लेकर अरविंद केजरीवाल, ममता बनर्जी, महबूबा मुफ्ती सहित तमाम नेता शामिल हो रहे हैं. तमाम नेताओं का तो बिहार पहुंचने का सिलसिला भी शुरू हो गया है.
इसी बीच उत्तर प्रदेश सरकार के औद्योगिक विकास मंत्री नन्द गोपाल गुप्ता नन्दी ने विपक्ष की इस बैठक पर जबरदस्त कटाक्ष किया है. आगे उन्होंने कहा, “जहां सभी विपक्ष के नेता पार्टी और परिवार का अस्तित्व बचाने के लिए सभी मूल्यों एवं अतीत को तिलांजलि देकर “दोस्ताना” की स्क्रिप्ट लिखने जा रहे हैं.”
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मोदी जी का सुशासन पड़ा भारी
मंत्री नन्दी ने कहा , “लेकिन अवसरवादिता और सत्तालोलुपता की बुनियाद पर बने इस ठगबन्धन के मिशन पर पीएम नरेन्द्र मोदी के सेवा, सुशासन और गरीब कल्याण का विजन भारी पड़ेगा. एक तरफ अमेरिका में भारत की साख का डंका बज रहा है तो दूसरी तरफ विपक्ष पटना में बेसुरी ढपली बजा रहा है.”
लेकिन अवसरवादिता और सत्तालोलुपता की बुनियाद पर बने इस ठगबन्धन के मिशन पर आदरणीय नरेन्द्र मोदी जी के सेवा, सुशासन और गरीब कल्याण का विजन भारी पड़ेगा।
एक तरफ अमेरिका में भारत की साख का डंका बज रहा है तो दूसरी तरफ विपक्ष पटना में बेसुरी ढपली बजा रहा है।@yadavakhilesh @NitishKumar
— Nand Gopal Gupta 'Nandi' (Modi Ka Parivar) (@NandiGuptaBJP) June 22, 2023
भूपेंद्र चौधरी ने भी साधा निशाना
वहीं बदायूं पहुंचे भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र चौधरी ने भी पटना में होने वाली बैठक को लेकर कहा कि पहले भी नेताओं नें गठबंधन किये हैं. हम ने सरकार में रहकर काम किया है. उन्हीं कामों क़ो लेकर हम जनता के बीच जा रहे हैं. विपक्षी नेताओं के पास कोई काम नहीं है. जनता के हित में जो काम हो रहे हैं, उसको भटकाने के लिए गठबंधन का राग अलापते हैं. उन्होंने आगे कहा कि, इससे पहले 2017 मे गठबंधन किया, 2019 में गठबंधन हुआ, उसके बाद, 2022 में गठबंधन किया. विपक्षी नेता ये बताएं कि गठबंधन की सहयोगी मायावती कहां है. अन्य दल जो गठबंधन किये है वह आज कोई दिखाई नहीं दे रहा है.
-भारत एक्सप्रेस
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