OTP के जरिए ऑनलाइन फ्रॉड!
ऑनलाइन धोखाधड़ी के मामले में तेजी से बढ़ते जा रहे हैं. हर बार बदमाश ऑनलाइन ठगी के नई तरकीब खोज ले रहे हैं. अब साइबर ठगों ने डिलेवरी ब्वॉय बनकर ठगी का नया पैंतरा सीख लिया है. इसके जरिए कई लोगों के घर डिलिवरी ब्वॉय बनकर पहुंचते हैं और OTP लेने के बाद बैंक से सारा पैसा साफ कर दे रहे हैं.
कैसे देते हैं अपराध को अंजाम
साइबर ठगी के लिए बदमाश बड़े ही शातिराना तरीके से अपने टारगेट को जाल में फंसाते हैं. सबसे पहले वो टारगेट के घर पहुंचते हैं. इसके बाद किसी सामान की डिलिवरी देने की बात कहते हैं. लेकिन, जब आदमी ने सामान मंगाया ही नहीं तो फिर डिलेवरी क्यों स्वीकार करे. ऐसे में अधिकांश लोग लेने से इनकार कर देते हैं.
इनकार के बाद जालसाज फिर ऑर्डर कैंसिल करने की बात करता है. ऑर्डर कैंसिलेशन के नाम पर वह टारगेट से OTP मांगता है. टारगेट ने जैसे ही OTP दिया, उसके चंद मिनटों के बाद उसका बैंक अकाउंट खाली हो जाता है. यानी, टारगेट साइबर ठगी का शिकार हो जाता है.
ऑनलाइन ठगी होने पर क्या करें
अगर आपके साथ ऑनलाइन ठगी हो जाती है, तो आप कैसे इसे निपटें, ये बड़ा सवाल होता है. अधिकांश लोग सही माध्यम के बारे में जानते नहीं हैं और लेट-लतीफी के चलते उनके बैंक से पैसा जालसाज उड़ा चुके रहते हैं. अभी पिछले दिनों ही पूर्व जॉइंट सेक्रेटरी आंबेर दुबे भी ऑनलाइन ठगी के शिकार हुए. सोशल मीडिया पर उनके एक पोस्ट के मुताबिक एका-एक उनके अकाउंट से 50-50 हजार के चार ट्रांजेक्शन हुए.
यह घटना 8 नवंबर 2022 को हुई और उन्होंने फौरन इसकी सूचना ‘इंडियन साइबर क्राइम कोऑर्डिनेशन सेंटर’ (14C) में कार्यरत अपने एक मित्र को दी. उन्होंने पीड़ित को तुरंत 1930 पर कॉल करने को कहा. आंबेर दुबे ने तुरंत पहल करते हुए 1930 नंबर डायर कर अपनी शिकायत दर्ज कराई. तकरीबन एक हफ्ते की जांच-पड़ताल के बाद उनके 2 लाख रुपये दोबारा बैंक खाते में जमा हो गए.
ऑनलाइन ठगी के इस दौर में कोशिश करें कि किसी भी तरह की जालसाजी में तुरंत न फंसें. किसी भी सामान का लेन-देन सही और ऑथेंटिक वेबसाइटों से करें. अपका ऑर्डर हो तभी कोई सामान लें और कैंसिलेशन के नाम पर अपने फोन से किसी भी तरह का ओटीपी नंबर न दें. लेकिन, अगर कोई अनहोनी हो भी जाती है. तो तुरंत 1930 नंबर डायर कर अपनी शिकायत दर्ज कराएं.
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