अडानी ग्रुप के चेयरमैन गौतम अडानी
Adani Group-Hindenburg Research: गौतम अडानी ने अमेरिकी रिसर्च फर्म हिंडनबर्ग के खिलाफ कानूनी लड़ाई की पूरी तैयारी कर ली है. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, अडानी ग्रुप ने हिंडनबर्ग के खिलाफ कानूनी लड़ाई लड़ने के लिए अमेरिकी लीगल फर्म वॉचटेल (Wachtel Lipton) को हायर किया है. इस अमेरिकी फर्म की 24 जनवरी को आई रिपोर्ट ने अडानी के साम्राज्य को हिलाकर रख दिया. इस रिपोर्ट के बाद अडानी के शेयरों के गिरने का ऐसा सिलसिला शुरू हुआ कि गौतम अडानी अमीरों की टॉप-20 की सूची से भी बाहर हो गए हैं.
गौतम अडानी के नेतृत्व वाले अडानी ग्रुप ने हिंडनबर्ग रिसर्च की रिपोर्ट को पूरी तरह से आधारहीन और तथ्यों से परे बताया था. साथ ही हिंडनबर्ग की रिपोर्ट को गलत बताते हुए अडानी ग्रुप ने अमेरिकी फर्म के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की चेतावनी दी थी. सूत्रों के मुताबिक, सिरिल अमरचंद मंगलदास फर्म ने अडानी-हिंडनबर्ग मामले के लिए अमेरिकी लॉ फर्म वॉचटेल से संपर्क किया था. इस भारतीय कंपनी को सिरिल श्रॉफ लीड करते हैं और वे गौतम अडानी के समधी हैं.
सबसे महंगी लॉ फर्मों में से एक है वाचटेल
वॉचटेल विवादित कानूनी लड़ाई लड़ने के लिए मशहूर है. पिछले साल एलन मस्क जब 44 बिलियन यूएस डॉलर वाली ट्विटर डील से पीछे हटे थे, उस वक्त ‘सिम्पसन थैचर एंड बार्टलेट’, ‘वॉचटेल, लिप्टन, रोसेन एंड काट्ज़’ और ‘विल्सन सोंसिनी गुडरिच एंड रोसाती’ ने मस्क के खिलाफ ट्विटर के लिए केस लड़ा था. तब वॉचटेल की काफी चर्चा हुई थी. वॉचटेल दुनिया की सबसे महंगी लॉ फर्मों में से एक है.
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अडानी अमीरों की टॉप-20 की लिस्ट से भी बाहर
हिंडनबर्ग रिसर्च की रिपोर्ट ने गौतम अडानी ग्रुप को बड़ा झटका दिया है. शेयरों में गिरावट का असर एशिया के सबसे अमीर शख्स गौतम अडानी की नेटवर्थ पर भी पड़ा है. फोर्ब्स के रियल टाइम बिलेनियर्स इंडेक्स के मुताबिक, गौतम अडानी टॉप-20 अमीरों की सूची से भी बाहर हो गए हैं. उनकी नेटवर्थ में कुल 5.7 बिलियन डॉलर की गिरावट दर्ज की गई है. बता दें कि अडानी साल 2022 में दुनिया के टॉप-10 अरबपतियों में सबसे ज्यादा कमाई करने वाले उद्योगपति रहे हैं. वे दूसरे स्थान पर पहुंचने में भी कामयाब रहे थे.
-भारत एक्सप्रेस