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बॉलीवुड का वो एक्टर, जिसने 1 ही फिल्म में निभाए थे 9 रोल, सच हुई थी इस सुपरस्टार की खुद की मौत की भविष्यवाणी

Unheard Story Of Sanjeev Kumar: आज हम आपको बॉलीवुड के ऐसे एक्टर के बारे में कुछ बातें बताने जा रहे हैं, जिससे शायद आप भी अनजान होंगे.

Unheard Story Of Sanjeev Kumar

Unheard Story Of Sanjeev Kumar: संजीव कुमार का नाम भारतीय सिनेमा के दिग्गज अभिनेताओं में लिया जाता है. उनकी एक्टिंग और Versatility के कारण वह आज भी दर्शकों के दिलों में जीवित हैं. संजीव कुमार ने अपनी अभिनय यात्रा की शुरुआत 1960 में की थी और उन्होंने 1985 तक फिल्म इंडस्ट्री में अपने अभिनय का जलवा बिखेरा. उन्होंने अपने करियर के दौरान कई बेहतरीन और यादगार फिल्मों में अभिनय किया, लेकिन दुख की बात यह है कि मात्र 47 वर्ष की आयु में 6 नवंबर 1985 को उनका निधन हो गया था.

एक ही फिल्म में निभाए थे 9 किरदार (Unheard Story Of Sanjeev Kumar)

संजीव कुमार के अभिनय की एक खास बात यह थी कि वह किसी भी किरदार में खुद को पूरी तरह से समाहित (Contained) कर लेते थे. उन्हें फिल्मों में डबल रोल करने में कोई परेशानी नहीं होती थी, लेकिन एक बार उन्होंने एक ही फिल्म में 9 अलग-अलग किरदार निभाकर बॉलीवुड में एक नया रिकॉर्ड बनाया था. यह रिकॉर्ड उन्होंने 1974 में आई फिल्म ‘नया दिन नई रात’ में सेट किया था, जिसमें उन्होंने 9 अलग-अलग किरदारों का अभिनय किया.

अमिताभ और शशि कपूर को भी दे चुके हैं टक्कर

संजीव कुमार के अभिनय को लेकर एक दिलचस्प वाकया भी है. फिल्म ‘त्रिशूल’ (1978) में उनका अभिनय ऐसा था कि वह अमिताभ बच्चन और शशि कपूर जैसे स्टार्स के बीच भी कहीं से कम नहीं लगे. फिल्म में उन्होंने अमिताभ और शशि कपूर के पिता का रोल निभाया था और उनके अभिनय की गहरी छाप दर्शकों पर पड़ी थी.

Unheard Story Of Sanjeev Kumar

संजीव कुमार ने खुद की थी अपनी मौत की भविष्यवाणी

संजीव कुमार का जीवन और करियर कई मायनों में खास था. वह अक्सर बुजुर्गों के किरदारों में नजर आते थे, जबकि उनकी उम्र बहुत कम थी. यह एक अजीब संयोग था, क्योंकि संजीव कुमार ने खुद अपनी मौत की भविष्यवाणी की थी. उन्होंने अपनी आत्मकथा में बताया था कि वह अपने परिवार के अन्य पुरुषों की तरह 50 वर्ष की आयु तक जीवित नहीं रह पाएंगे. यह भविष्यवाणी उन्होंने बहुत पहले की थी और यह सही साबित हुई.

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हनीफ जावेरी, जो कि संजीव कुमार की जीवित रहकर लिखी गई बायोग्राफी ‘एन एक्टर्स एक्टर’ के लेखक हैं, उन्होंने एक बार यह खुलासा किया था कि संजीव कुमार ने अभिनेत्री तबस्सुम से बातचीत के दौरान कहा था कि वह बूढ़े होने से पहले ही दुनिया से अलविदा हो जाएंगे. इस तरह जब संजीव कुमार ने अपनी जवानी में ही बूढ़े का किरदार निभाया था, तो यह उनके आत्मविश्वास और अभिनय की गहरी समझ को दर्शाता है.

Unheard Story Of Sanjeev Kumar

ये हैं सुपरहिट फिल्में (Unheard Story Of Sanjeev Kumar)

संजीव कुमार की कुछ प्रमुख फिल्मों में ‘शोले’ (1975), ‘अर्जुन पंडित’ (1976), ‘त्रिशूल’ (1978), ‘खिलोना’ (1970), ‘नया दिन नई रात’ (1974), ‘देवता’ (1978), ‘राम तेरे कितने नाम’ (1985), ‘अंगूर’ (1982), ‘हीरो’ (1983), ‘बीवी-ओ-बीवी’ (1981) और ‘पत्नी पत्नी और वो’ (1978) जैसी फिल्मों का नाम शामिल है.

मृत्यु के बाद भी रिलीज हुई थी एक्टर की 10 फिल्में

उनकी मृत्यु के बाद भी 10 फिल्में रिलीज हुई थीं, जिनमें ‘प्रोफेसर की पड़ोसन’, ‘कातिल’, ‘हाथों की लकीरें’, ‘कांच की दीवार’, ‘लव एंड गॉड’, ‘राही’, ‘दो वक्त की रोटी’, ‘बात बन जाए’, ‘नामुमकिन’ और ‘ऊंच नीच बीच’ शामिल थीं. इन फिल्मों में भी उन्होंने अपनी अदाकारी से यह साबित किया कि वह हमेशा दर्शकों के दिलों में बसे रहेंगे.



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