फोटो-सोशल मीडिया (अपराधी लाल घेरे में)
Azamgar: यूपी के आजमगढ़ जिले की पुलिस ने फेसबुक पर विदेशी महिला बनकर ठगी करने वाले शातिर अपराधी को गिरफ्तार कर लिया है. आरोपी महिला बनकर करोड़ो रूपए देने के बहाने लोगों को अपना शिकार बनाता था. बीते दिनों ही उसने 18 लाख की ठगी कर बड़ी घटना को अंजाम दिया था. फिलहाल इस मामले में फरार तीन अपराधियो की तलाश में पुलिस अभी जुटी है. गिरफ्तार आरोपी के पास से पुलिस ने छह मोबाइल फोन और आठ सिमकार्ड बरामद किए हैं. इस पूरे ऑपरेशन में इंस्पेक्टर विमल प्रकाश राय, मनीष सिंह, प्रमोद कुमार शामिल थे.
19 अक्टूबर को दर्ज हुई थी शिकायत
इस मामले में 19 अक्टूबर 2022 को सिधारी थाना क्षेत्र के रहने वाले राजेश कुमार राय ने साइबर थाने में शिकायत दर्ज कराई थी कि विदेशी महिला लूसी चार्लोट ने दोस्ती कर 25,000 UK Pound और महंगे उपहार देने के नाम पर उनसे करीब 18 लाख रूपये की ठगी कर ली है. इस पर पुलिस ने मामले में मुकदमा दर्ज कर आरोपी की तलाश शुरू कर दी. मामले के खुलासे के लिए अपर महानिदेशक साइबर क्राइम, एसपी साइबर क्राइम और आजमगढ़ एसपी अनुराग आर्य ने मामले में तकनीकी संसाधनों का प्रयोग करते हुए विवेचना शुरू की तो पूरा मामला खुलकर सामने आ गया. पुलिस की इस विवेचना में बिहार के नालंदा जिले के पांच अर्न्तराज्यीय साइबर अपराधियों के नाम इस घटना में सामने आए.
ADG ने दी अनुमति बिहार पहुंची आजमगढ़ पुलिस
मीडिया सूत्रों के मुताबिक मामले की विवेचना कर रही जिले की साइबर टीम ने एडीजी से परमिशन ली और फिर शातिरों को गिरफ्तार करने के लिए बिहार पहुंची. आजमगढ़ जिले के साइबर इंस्पेक्टर साइबर क्राइम विमल प्रकाश राय की टीम ने बिहार से साइबर गैंग के अभियुक्त सौरभ कुमार जो कि बिहार के नवादा का रहने वाला है को उसके घर से गिरफ्तार कर लिया. इसके साथ ही इस घटना में सामने आए रिपांशु कुमार, दिलीप कुमार, रिपेश कुमार उर्फ बिट्टू फरार हो गए. फिलहाल पुलिस इन आरोपियों की भी तलाश कर रही है. आरोपी को ट्रांजिट रिमांड लेकर आजमगढ़ न्यायालय में आरोपी को पेश किया जा रहा है.
पूछताछ में आरोपी ने किया बड़ा खुलासा
पुलिस पूछताछ में आरोपी ने बड़ी खुलासा करते हुए इस बात को स्वीकार किया है कि उसने KBC लाटरी फ्रॉड, विदेशी महिला बनकर गिफ्ट फ्रॉड, फाइनेंस के नाम पर साइबर ठगी के बारे में सीखा था. इसी तरह से अपने साथियों के साथ मिलकर विदेशी महिला बनकर फेसबुक पर दोस्ती कर UK Pound और महंगे उपहार देने के नाम पर अधिवक्ता शुल्क, कस्टम शुल्क, फाइल शुल्क इत्यादि के नाम पर करीब 18 लाख रूपये की साइबर धोखाधड़ी की थी. निकाले गए पैसे को उसने बाकि साथियों के साथ आपस में बांट लिया था.
-भारत एक्सप्रेस