ममता बनर्जी और प्रियंका गांधी (फाइल फोटो)
PM Modi vs Priyanka Gandhi: पश्चिम बंगाल के मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने प्रियंका गांधी को लोक सभा चुनाव 2024 लड़ने का सुझाव दिया है. अब सवाल यह उठ रहा है कि आखिर ममता ने यह आईडिया क्यों दिया, ये बड़ा सवाल है. राजनीतिक विश्लेषक इसे कांग्रेस का ट्रंप कार्ड बता रहे हैं, जिसे ममता बनर्जी ने परख लिया है. अब खास बात यह है कि प्रियंका का यूपी में पिछला चुनावी रिकॉर्ड काफी खराब रहा है. पिछले चुनावों में भी यह मांग उठी थी कि प्रियंका को वाराणसी से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के खिलाफ चुनाव लड़ाया जाए, लेकिन नामांकन के दिन फिर से पार्टी ने अजय राय को ही आगे कर दिया था, और अब एक बार फिर प्रियंका को लेकर हवा उड़ने लगी है, जिसमें मुख्य भूमिका ममता बनर्जी की है.
पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने जिस सीट से प्रियंका गांधी को चुनाव मैदान में उतारने की सलाह दी है, वहां चुनाव लड़ना उनके लिए खतरनाक हो सकता है. जी हां, विपक्षी गठबंधन INDIA की बैठक में ममता बनर्जी ने प्रियंका गांधी को वाराणसी सीट से चुनाव मैदान में उतारने की सलाह दी है. संसद में 2014 से वाराणसी सीट का प्रतिनिधित्व प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी करते हैं लेकिन अब ममता चाहती हैं कि इस सीट पर प्रियंका मोदी का सामना करें.
2019 में भी होगी चर्चा
बता दें कि साल 2019 में भी प्रियंका गांधी के प्रधानमंत्री मोदी के खिलाफ चुनाव लड़ने की काफी चर्चा रही. चर्चा को हवा भी प्रियंका गांधी ने ही दी थी. कांग्रेस की एक मीटिंग में जब कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने प्रियंका को चुनाव लड़ने की अपील की, और सीटों को लेकर सुझाव देने लगे तो प्रियंका ने बोल दिया कि बनारस से क्यों नहीं? बस चर्चा चल पड़ी. इंटरव्यू में प्रियंका गांधी से ये सवाल पूछा जाने लगा.
विपक्षी दलों की मीटिंग में ही ममता बनर्जी ने मल्लिकार्जुन खड़गे को प्रधानमंत्री पद का उम्मीदवार बनाये जाने का सुझाव दिया है, लेकिन खुद खड़गे ने ही खारिज कर दिया है. कांग्रेस पार्टी चाहती है कि इस बात का फैसला लोकसभा चुनावों के बाद हो, जिससे उसके पास नेगोसिएशन की क्षमता अधिक हो और उसे उसकी वास्तिवक राजनीतिक ताकत का पता लगे.
क्या कांग्रेस को घेरना चाहती है पार्टी
अहम सवाल यह है कि ममता बनर्जी के मन में कांग्रेस को लेकर चल क्या रहा है? आखिर क्यों वो ऐसे सुझाव दे रही हैं जिससे राहुल गांधी और प्रियंका गांधी दोनों ही मुख्यधारा की राजनीति से बाहर हो जाएं? माना जा रहा है कि इसके जरिए ममता गांधी परिवार के राजनीतिक वर्चस्व को खत्म करना चाहती हैं जिससे चुनाव जीतने की स्थिति में भी कांग्रेस पार्टी अन्य विपक्षी दलों के से ज्यादा डिमांड करने स्थिति में न रहें.
-भारत एक्सप्रेस