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Delhi Haryana Water Dispute: पर्याप्त पानी की आपूर्ति ‘न’ करने पर हरियाणा के अधिकारियों के खिलाफ दिल्ली हाईकोर्ट में दायर की गई याचिका

अदालत ने दिल्ली-हरियाणा की दोनों सरकारों के अलावा सिंचाई और जल संसाधन विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों को नोटिस जारी कर तीन सप्ताह के भीतर जवाब दाखिल करने को कहा है.

river water

नदी में बहता जल (प्रतीकात्मक तस्वीर)

Delhi Haryana Water Problem: दिल्ली और हरियाणा के बीच पानी को लेकर हुए अग्रीमेंट के बावजूद दिल्ली को पर्याप्त पानी की आपूर्ति नहीं करने को लेकर दिल्ली हाईकोर्ट में हरियाणा के अधिकारियों के खिलाफ अवमानना याचिका दाखिल की गई है.

न्यायमूर्ति नीना बंसल कृष्णा ने इस मामले में दिल्ली सरकार व हरियाणा सरकार से जवाब मांगा है. उन्होंने दोनों सरकारों के अलावा हरियाणा के सिंचाई और जल संसाधन विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों को नोटिस जारी कर तीन सप्ताह के भीतर जवाब दाखिल करने को कहा है। कोर्ट 24 जुलाई को इस मामले में अगला सुनवाई करेगा. याचिकाकर्ता की ओर से पेश वकील एसबी त्रिपाठी ने आरोप लगाया कि हरियाणा सरकार ने इस भीषण गर्मी में जानबूझकर दिल्ली को पानी की आपूर्ति कम कर दी है.

हरियाणा ने मई 2023 में हाईकोर्ट में एक हलफनामा दाखिल कर कहा था कि वह दिल्ली को उसके हिस्से का 719 क्यूसेक पानी देगा. इसके साथ ही 321 क्यूसेक अतिरिक्त पानी देगा जो कुल 1040 क्यूसेक पानी हो जाएगा. लेकिन आज तक हरियाणा ने 1040 क्यूसेक की सप्लाई को कम करने के बारे में कुछ नहीं कहा है. याचिकाकर्ता ने कहा कि 15 जनवरी, 2024 को हाईकोर्ट ने दिल्ली के लिए पर्याप्त जल आपूर्ति की मांग करने वाली उनकी मुख्य याचिका का निपटारा कर दिया था. उसने हरियाणा सरकार के बयान को स्वीकार कर लिया था और कहा था कि वह अपने वचन से बंधा हुआ है.

याचिकाकर्ता ने अवमानना याचिका में कहा है कि हरियाणा सरकार हाईकोर्ट के 15 जनवरी 2024 के आदेश की जानबूझकर अवज्ञा कर रहा है. इसलिए हरियाणा सरकार के सिंचाई और जल संसाधन विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों के खिलाफ अवमानना कार्यवाही शुरू की जाए, क्योंकि दिल्लीवासी गंभीर जल संकट का सामना कर रहे हैं. याचिका में यह भी कहा गया है कि हरियाणा ने मुनक कैरियर लाइन चैनल (सीएलसी) के माध्यम से पानी की आपूर्ति कम कर दी है और कभी-कभी इस नहर के माध्यम से बिल्कुल भी पानी की आपूर्ति नहीं होती है.

— भारत एक्सप्रेस

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