आनंद गिरि. (फाइल फोटो)
अखिल भारतीय अखाड़ा परिषद के अध्यक्ष रहे महंत नरेंद्र गिरि आत्महत्या मामले में कथित आरोपी आनंद गिरि की ओर से दायर याचिका पर सुप्रीम कोर्ट 2 सप्ताह बाद सुनवाई करेगा. आनंद गिरि ने चित्रकूट जेल में जान का खतरा बताते हुए चित्रकूट जेल से मध्यप्रदेश के जबलपुर जेल में ट्रांसफर करने की मांग की है.
सुप्रीम कोर्ट ने याचिकाकर्ता को नए AOR (Advocate On Record) नियुक्त करने के लिए समय दे दिया है. क्योंकि कि इस केस से प्रशांत भूषण हट गए है.
मामले की सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने आनंद गिरि के वकील से कई सवाल किए. कोर्ट ने पूछा कि आपकी ट्रायल यूपी से मध्यप्रदेश में ट्रांसफर करने की मांग हमने पहले ही खारिज कर दी है. अब आप मध्यप्रदेश जेल में ट्रांसफर चाहते है और ट्रायल उत्तर प्रदेश में चलेगा यह कैसे संभव है. इससे पहले आनंद गिरि की जमानत याचिका सुप्रीम कोर्ट खारिज कर चुका है.
2022 में हुई गिरफ्तारी
आनंद गिरि ने 9 सितंबर 2022 को इलाहाबाद हाईकोर्ट के उस आदेश के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट का रुख किया था, जिसमें उन्होंने जमानत देने से इनकार कर दिया था. याचिकाकर्ता ने अपनी याचिका में कहा कि उसे मामले में झूठा फंसाया गया है. कथित सुसाइड नोट में आनंद गिरि के नाम का उल्लेख किया गया था. पर वह नरेंद्र गिरि का नहीं है और इसमें कई कटिंग और ओवरराइटिंग है.
बता दें कि महंत नरेंद्र गिरि की आत्महत्या मामले में उनके शिष्य आनंद गिरि समेत तीन लोग जेल में बंद है. इस मामले की जांच सीबीआई ने की थी. जांच के बाद आनंद गिरि, आद्या तिवारी और संदीप तिवारी पर नरेंद्र गिरि को ब्लैक मेलकर आत्महत्या के लिए प्रेरित करने का आरोप है. सीबीआई इस मामले में आरोप पत्र दाखिल कर चुकी है.
-भारत एक्सप्रेस
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