नृपेंद्र मिश्र.
Ayodhya Ram Mandir: राम मंदिर निर्माण समिति की बैठक के दूसरे दिन समिति के चेयरमैन नृपेंद्र मिश्र ने मंदिर निर्माण की प्रगति की जानकारी दी. उन्होंने बताया कि निर्माण कार्य में मजदूरों की कमी के कारण तीन महीने की देरी हो सकती है. मंदिर निर्माण का कार्य के पूरे होने की समय सीमा जून 2025 थी.
नृपेंद्र मिश्र ने बताया कि निर्माण प्रक्रिया में इस समय में लगभग 200 मजदूरों की कमी है. इस कमी के कारण निर्माण की गति बाधित हो रही है. हालांकि, मूर्तिकारों ने आश्वासन दिया है कि मंदिर में स्थापित की जाने वाली सभी मूर्तियां दिसंबर तक तैयार हो जाएंगी.
निर्माण कार्य में किस वजह से हो रही है देरी
पत्रकारों से बातचीत करते हुए नृपेंद्र मिश्र ने बताया कि निर्धारित समय-सीमा में निर्माण कार्य पूरा करना समिति की प्राथमिकता है, लेकिन मजदूरों की कमी की वजह से इसमें देरी हो रही है. हालांकि, निर्माण सामग्री की आपूर्ति में कोई समस्या नहीं है.
उन्होंने कहा कि परकोटा के परिक्रमा पथ में लगभग एक किलोमीटर का क्षेत्र शामिल है. इस पथ पर छह मंदिर स्थित हैं. इस निर्माण के लिए 8.3 लाख क्यूबिक फीट बंसी पहाड़पुर के पत्थर की आवश्यकता थी, जो अब पूरी हो चुकी है. लेकिन, मजदूरों की कमी के कारण निर्माण कार्य के गति पकड़ने में कठिनाई आ रही है.
काफी तेजी से चल रहा मूर्ति निर्माण का कार्य
उन्होंने कहा, “सभी मूर्तियों का निर्माण कार्य भी तेजी से चल रहा है. जयपुर से भगवान रामलला के दरबार की मूर्ति, सप्त मंदिरों की मूर्तियां, और परकोटा के छह मंदिरों की मूर्तियां दिसंबर के अंत तक अयोध्या पहुंचने की उम्मीद है.”
उन्होंने भरोसा जताया कि समिति गुणवत्ता और समयबद्धता के साथ निर्माण कार्य पूरा करने का हर संभव प्रयास कर रही है, ताकि श्रद्धालुओं का सपना जल्दी साकार हो सके.