सीसीटीवी फुटेज में हमलावर (फोटो- Screen grab)
Umesh Pal Murder: विधायक राजू पाल हत्याकांड के मुख्य गवाह उमेश पाल की प्रयागराज में शुक्रवार को हत्या कर दी गई थी. उनका शव पोस्टमॉर्टम के बाद परिवार को सौंप दिया गया है. वहीं इस हत्याकांड को लेकर समाजवादी पार्टी लगातार यूपी की योगी सरकार पर निशाना साध रही है. उमेश पाल पर हमले का एक सीसीटीवी फुटेज शेयर करते हुए अखिलेश यादव ने बीजेपी सरकार पर निशाना साधा है.
अखिलेश यादव ने ट्वीट किया, “इलाहाबाद-बमकांड में भाजपा सरकार कहीं ये बहाना न बनाए कि यूपी में शूटिंग को बढ़ावा दिया जा रहा है …” विधानसभा में भी शनिवार को सीएम योगी आदित्यनाथ और नेता प्रतिपक्ष अखिलेश यादव के बीच तीखी नोकझोंक हुई थी.
अखिलेश यादव ने सदन में प्रयागराज का मुद्दा उठाया था. जिसका सीएम योगी ने जवाब देते हुए सपा पर निशाना साधा. उन्होंने कहा कि अतीक अहमद को सांसद और विधायक किस पार्टी ने बनाया. समाजवादी पार्टी चोरी और सीनाजोरी न करे. सपा की रग-रग में माफिया बसा है. हम माफियाओं को मिट्टी में मिला देंगे.
उमेश पाल और उनके गनर की हत्या के मामले में धूमनगंज थाना में शनिवार को माफिया और पूर्व सांसद अतीक अहमद समेत कई लोगों के खिलाफ केस दर्ज किया गया है. उमेश पाल की पत्नी जया पाल की शिकायत पर धूमनगंज थाना में अतीक अहमद, उसके भाई अशरफ, उसकी पत्नी शाइस्ता परवीन, उसके दो बेटों, उसके साथी गुड्डू मुस्लिम और गुलाम और नौ अन्य साथियों के खिलाफ आईपीसी की धारा 147, 148, 149, 302, 307, 506, 120-बी, 34, विस्फोटक पदार्थ अधिनियम, 1908 की धारा 3 और आपराधिक कानून (संशोधन) अधिनियम, 1932 की धारा 7 के तहत मामला दर्ज किया गया.
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उमेश पाल की पत्नी ने लगाए आरोप
एफआईआर में जया पाल ने आरोप लगाया है कि उनके पति उमेश पाल, विधायक राजू पाल हत्याकांड के चश्मदीद गवाह थे और वर्ष 2006 में पूर्व सांसद अतीक अहमद और उनके साथियों ने उमेश पाल का अपहरण कर अदालत में ले जाकर जबरदस्ती अपने पक्ष में गवाही दिलाई थी. उमेश पाल ने अपहरण की प्राथमिकी लिखवाई थी और इस मामले में मुकदमा चल रहा है. जया पाल ने शिकायत में कहा कि इसी मुकदमे में सुनवाई होनी थी जिसके लिए उमेश पाल अपने भतीजे की कार से अपने दो सुरक्षाकर्मियों- संदीप निषाद और राघवेंद्र सिंह के साथ जिला अदालत गए थे.
-भारत एक्सप्रेस