
अखिलेश यादव का नया घर
Akhilesh Yadav New House In Azamgarh: उत्तर प्रदेश की सियासत में इन दिनों समाजवादी पार्टी के प्रमुख अखिलेश यादव का घर चर्चा में है. उन्होंने आजमगढ़ में बनाए इस आशियाने में गृह प्रवेश कर लिया है. इसी के साथ उन्होंने जनसभा को भी संबोधित किया है. माना जा रहा है कि SP के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव अब आजमगढ़ को राजनीतिक केंद्र के तौर पर विकसित करने जा रहे हैं. यह घर न केवल उनका दूसरा स्थायी ठिकाना बनेगा. बल्कि, यह पूर्वांचल में आजमगढ़ को सपा की सियासत का केंद्र बनाने जा रहा है.
अखिलेश यादव 3 जुलाई दिन गुरुवार को आजमगढ़ में अपने नए आवास और कार्यालय परिसर का उद्घाटन किया है. यह परिसर खुद उनके लिए और पार्टी के लिए कई मायनों में अहम है. क्योंकि, मुलायम सिंह यादव आजमगढ़ को अपनी धड़कन बताया करते थे. सियासी लिहाज से ये 2027 के लिए काफी अहम होने वाला है. आइये जानें यह किन बातों के लिए खास है?
68 बिस्वा में फैला पॉलिटिकल हब
अखिलेश यादव ने जनवरी 2021 में अनवरगंज में 38 बिस्वा 16 कड़ी भूमि की रजिस्ट्री पार्टी के नाम से कराई थी. इसके बाद अगल-बगल और भूमि खरीद गई थी. कुल मिलाकर ये पूरा एरिया 68 बिस्वा का है. आजमगढ़-फैजाबाद हाईवे पर स्थित अनवरगंज में बने इस परिसर का निर्माण 82,960 वर्ग फीट भूमि पर किया गया है. यहां एक आवासीय भवन के साथ ही यहां कार्यकर्ताओं के लिए ट्रेनिंग सेंटर भी बनाया जा रहा है. इसी जगह पर पार्टी कार्यकर्ताओं को चुनावी रणनीति और संगठन कौशल की ट्रेनिंग दी जाएगी.
क्या-क्या है इस घर में?
- घर का पूरा एरिया 68 बिस्वा का है. इसमें आवास व कार्यालय है.
- पहले फ्लोर पर अखिलेश यादव के रहने के लिए कमरे बनाए गए हैं.
- ग्राउंड फ्लोर पर लोगों के लिए आगंतुक कक्ष, निजी सचिव का कक्ष और कुछ ऑफिस हैं.
- सुरक्षाकर्मियों और उनके साथ के लोगों के लिए ग्राउंड फ्लोर पर कमरे बनाए गए हैं.
- 2000 कार्यकर्ताओं के बैठने के लिए ऑडिटोरियम का निर्माण भी किया गया है.
सपा का गढ़ है आजमगढ़
पूर्वांचल में 28 जिले आते हैं. यहां विधानसभा की 164 सीटें है. साल 2017 के चुनाव में सपा को मात्र 14 सीटें मिली थी. वहीं 2022 में पार्टी ने रिकवरी की और 53 सीटों पर कब्जा जमा लिया था. हालांकि, दोनों बार ही पार्टी सत्ता में काबिज नहीं हो पाई. अब इलाके में पकड़ मजबूत करने के लिए अखिलेश यादव आजमगढ़ को नया ठिकाना बनाने जा रहे हैं.
- 2012 के चुनाव में सपा ने आजमगढ़ में क्लिन स्वीप करते हुए 10 की 10 सीटों पर जीत हासिल की थी.
- 2017 में 10 में 9 और 2022 में पार्टी ने 10 में 10 सीटों पर जीत का परचम लहराया था.
- दो लोकसभा सीटों पर भी पार्टी की पकड़ मजबूत रही है.
- आजमगढ़ में 2014 से सपा का कब्जा है. पहले मुलायम सिंह बाद में अखिलेश यादव और धर्मेन्द्र यादव सांसद चुने गए.
- वहीं लालगंज 2014 में भाजपा, 2019 में सपा-बसपा गठबंधन और 2024 में सपा के पास गई थी.
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पूर्वांचल फतह की तैयारी
आजमगढ़ जिले की 10 विधानसभा सीटों और दो लोकसभा सीटों पर समाजवादी पार्टी का कब्जा है. ऐसे में इस नए ठिकाने को पार्टी की पूर्वांचल में पकड़ मजबूत करने की रणनीति के तौर पर देखा जा रहा है. अखिलेश यादव खुद 2019 से 2024 तक आजमगढ़ से सांसद रहे हैं. अब अखिलेश यादव के आजमगढ़ में नए पॉलिटिकल हब में पार्टी कार्यकर्ताओं को प्रशिक्षण और संगठन कौशल की ट्रेनिंग दी जाएगी. इससे पार्टी को पूर्वांचल में पकड़ मजबूत करने की उम्मीद है जिससे 2027 विधानसभा चुनाव सीटों में इजाफा हो सके.
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