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सुप्रीम कोर्ट ने कोचिंग सेंटरों में सुरक्षा के लिए दिल्ली, यूपी और हरियाणा से जवाब मांगा

दिल्ली हाई कोर्ट ने मुखर्जी नगर कोचिंग सेंटर हादसे से संबंधित दाखिल याचिका पर सुनवाई के बाद एमसीडी और डीडीए को अग्नि सुरक्षा मानदंडों का उल्लंघन कर चल रहे कोचिंग संस्थानों को तुरंत बंद करने का आदेश दिया था.

supreme court

सुप्रीम कोर्ट.

कोचिंग सेंटरों में सेफ्टी के लिए गाइडलाइंस बनाने को लेकर लेकर लिए एक स्वतः संज्ञान पर सुनवाई के दौरान सुप्रीम कोर्ट ने दिल्ली, उत्तर प्रदेश और हरियाणा से पूछा कि इसको लेकर अब तक क्या कदम उठाए गए हैं, इससे संबंधित रिपोर्ट कमेटी को सौंपे. साथ ही कोर्ट ने कहा कि हाईकोर्ट द्वारा बनाया गया टास्क फोर्स अपना काम करता रहेगा.

कोर्ट 4 सप्ताह बाद इस मामले में अगली सुनवाई करेगा. पिछली सुनवाई के दौरान कोर्ट ने कहा था कि कोचिंग सेंटर बच्चों की जिंदगी से खेल रहे है. कोचिंग सेंटर तो डेथ चैंबर बन गए हैं. सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र सरकार और दिल्ली के चीफ सेक्रेटरी को नोटिस जारी कर पूछा था कि कोचिंग सेंटर में क्या सेफ्टी के नियम लागू किए गए हैं.

सुप्रीम कोर्ट ने अटॉर्नी जनरल को इस मामले में कोर्ट की सहायता करने को कहा था. साथ ही कोर्ट ने कहा था कि हमारा ये सोचना है कि अगर कोचिंग सेंटर सेफ्टी नॉर्म को पूरा नहीं करते तो इनको ऑनलाइन मोड़ में कर दिया जाना चाहिए, लेकिन फिलहाल हम ये नहीं कर रहे है. कोर्ट ने कहा कि मानदंडों में उचित वेंटिलेशन, सुरक्षा मार्च, हवा और रोशनी शामिल होना चाहिए.

बता दें कि दिल्ली हाई कोर्ट ने मुखर्जी नगर कोचिंग सेंटर हादसे से संबंधित दाखिल याचिका पर सुनवाई के बाद एमसीडी और डीडीए को अग्नि सुरक्षा मानदंडों का उल्लंघन कर चल रहे कोचिंग संस्थानों को तुरंत बंद करने का आदेश दिया था. जिसके खिलाफ कोचिंग सेंटर ऑर्गनाइजेशन ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की थी. जिसपर सुनवाई के बाद कोर्ट ने याचिका को खारिज करते हुए याचिकाकर्ता पर एक लाख रुपये का जुर्माना लगाया है.

मुखर्जी नगर कोचिंग सेंटर में लगी आग से संबंधित मामले में दायर याचिकाओं पर संज्ञान लेने के बाद जून 2023 में सुनवाई शुरू की थी.

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-भारत एक्सप्रेस

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