पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप.
पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति और रिपब्लिकन पार्टी (Republican) के राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार डोनाल्ड ट्रंप (Donald Trump) ने ईरान (Iran) से अपनी जान को ‘बड़ा खतरा’ होने का आरोप लगाया और कहा कि उन पर हमला करना हमलावर की ‘मौत की इच्छा’ (Death Wish) जैसी है. ट्रंप ने यह दावा तब किया जब दो महीने में उनकी हत्या के दो प्रयास हुए.
उनके अभियान के अनुसार, 78 वर्षीय ट्रंप को अमेरिकी खुफिया एजेंसियों द्वारा ईरान से उनके जीवन को कथित तौर पर ‘वास्तविक और विशिष्ट’ खतरे के बारे में भी जानकारी दी गई थी, जिसका उद्देश्य देश में ‘अराजकता फैलाना’ था.
सोशल साइट X पर किया पोस्ट
उन्होंने एक्स पर एक पोस्ट में कहा, ‘ईरान से मेरी जान को बड़ा खतरा है. पूरी अमेरिकी सेना देख रही है और इंतजार कर रही है. ईरान ने पहले भी कई कदम उठाए हैं, जो कारगर नहीं रहे, लेकिन वे फिर से कोशिश करेंगे. किसी के लिए भी यह अच्छी स्थिति नहीं है. मैं पहले से कहीं ज्यादा लोगों, बंदूकों और हथियारों से घिरा हुआ हूं.’
उन्होंने कहा, ‘सीक्रेट सर्विस को अधिक धनराशि देने के लिए कांग्रेस को सर्वसम्मति से धन्यवाद. रिपब्लिकन और डेमोक्रेट्स को किसी मुद्दे पर एक साथ आते देखना अच्छा लगा. पूर्व राष्ट्रपति पर हमला हमलावर के लिए मौत की कामना है!’
Big threats on my life by Iran. The entire U.S. Military is watching and waiting. Moves were already made by Iran that didn’t work out, but they will try again. Not a good situation for anyone. I am surrounded by more men, guns, and weapons than I have ever seen before. Thank you…
— Donald J. Trump (@realDonaldTrump) September 25, 2024
अब तक हुए दो हमले
मालूम हो कि बीते 13 जुलाई को पेंसिलवेनिया के बटलर में एक अभियान रैली के दौरान ट्रंप तब बाल-बाल बच गए, जब उन पर चलाई गई एक गोली उनके कान को छूती हुई निकल गई. दूसरी असफल हत्या की कोशिश 15 सितंबर को हुई, जब वह फ्लोरिडा के वेस्ट पाम बीच में ट्रंप इंटरनेशनल गोल्फ क्लब में थे.
गोल्फ कोर्स के बाहर बंदूक के साथ देखे गए रयान वेस्ले राउथ (58 वर्ष) पर मंगलवार को एक प्रमुख राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार की हत्या का प्रयास करने का आरोप लगाया गया. अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव 5 नवंबर को होंगे.
चुनाव में दखल देने का प्रयास
पिछले हफ्ते अमेरिकी सरकारी एजेंसियों ने दावा किया था कि ईरानी हैकरों ने ट्रंप के अभियान से चुराई गई सामग्री वाले ईमेल अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाडेन के तत्कालीन चुनाव अभियान में शामिल लोगों को भेजे थे. उन्होंने आरोप लगाया कि यह अमेरिकी चुनाव में दखल देने के व्यापक प्रयास का हिस्सा था. बीते अगस्त में अमेरिका ने ईरान पर ट्रंप और हैरिस के अभियान के खिलाफ साइबर अभियान शुरू करने का आरोप लगाया था. हालांकि ईरान ने इन आरोपों से इनकार किया था.
-भारत एक्सप्रेस
इस तरह की अन्य खबरें पढ़ने के लिए भारत एक्सप्रेस न्यूज़ ऐप डाउनलोड करें.