जोस साल्वाडोर अल्वारेंगा (Mexico).
यह कहानी है एक निडर मछुआरे जोस सल्वाडोर अल्वारेंगा की. जोस 400 से भी ज्यादा दिनों तक पैसिफिक ओशन में रहे थे, वापस लौटकर उन्होंने अनोखा रिकॉर्ड बनाया. यह वर्ल्ड रिकॉर्ड उन्होंने समुद्र में मछली पकड़ने की यात्रा के दौरान बनाया. उनकी यह कहानी बड़े चुनौतीपूर्ण संघर्ष की है, जिसमें जीवन और मौत का खेल चलता रहा.
जोस सल्वाडोर अल्वारेज़ ने एक बार 2004 में एक कश्ती (Boat) पर यात्रा शुरू की थी, जो उनके लिए एक बड़ा साहसिक कार्य था. उनके सामने चैलेंज था दुनिया के सबसे बड़े समंदर पैसिफिक ओशन में लंबी यात्रा पूरी करना. यह समंदर इतना विशाल है कि यह 16.5 करोड़ वर्ग किलोमीटर से अधिक क्षेत्र में फैला हुआ है. इस महासागर में कई ऐसे द्वीप हैं जहां आज तक कोई इंसान नहीं पहुंचा है.
तूफान में फंसी कश्ती, हजारों किलोमीटर दूर बह गई
जोस ने 17 नवंबर 2004 को न्यू मैक्सिको के एक छोटे से गाँव कोस्टा अजुल से मछली पकड़ने के लिए समुद्र में कश्ती के साथ यात्रा शुरू की. लेकिन दुर्भाग्यवश, उनका रेडियो बैटरी खत्म हो गया और उनकी कश्ती तूफान में फंस गई. उन्होंने अपनी सिचुएशन के बारे में अपने पास के रेडियो से अपने परिवार को सूचित किया, लेकिन कश्ती के साथ उनका संपर्क टूट गया और वह समुद्र में लापता हो गए.
5 दिनों की जद्दोजहद के बाद, जोस की कश्ती समुद्र में 400 किलोमीटर से अधिक दूर बह गई. उनके पास न खाना-पानी था, और न कोई अन्य सामान. इस कठिन यात्रा में उन्हें मछली पकड़ने का मौका मिला, जिससे उन्हें थोड़ी राहत मिली. लेकिन जैसे-जैसे समय बीतता गया, उनकी स्थिति और भी खराब होती गई. उन्होंने पीने के लिए पानी की बोतलें प्लास्टिक से बनाई और उनसे अपनी जान बचाने की कोशिश की, लेकिन पानी की कमी और शारीरिक थकावट से उनका जीवन मुश्किल हो गया.
परिजनों को लगा- नहीं रहे जिंदा, लेकिन लौट आए
चार महीने बाद जोस ने आत्महत्या करने का फैसला किया, क्योंकि वह अब और नहीं लड़ सकते थे. हालाँकि, कुछ महीनों बाद, जोस ने फिर से वापसी की. वह अपनी कश्ती पर एक छोटे से द्वीप तक पहुंचे, और वहां के स्थानीय लोगों से संपर्क किया. इसके बाद उनकी कहानी पर किताब भी आई.
जोस के बारे में ये कहा जाता है कि उन्होंने आत्महत्या की बात कही थी, लेकिन उनकी जिंदादिली और संघर्ष ने उन्हें दुनिया में एक मिसाल के रूप में पेश किया. उनके जीवन और उनके संघर्ष की कहानी से यह स्पष्ट होता है कि जीवन में कितनी भी कठिनाइयाँ आएं, आत्महत्या अंतिम समाधान नहीं हो सकता.
जोस जहां फंसे, कैसा है वो प्रशांत महासागर-
- प्रशांत महासागर (Pacific Ocean) का क्षेत्रफल 165.25 मिलियन वर्ग किलोमीटर है.
- यह अपनी विशालता, जैव विविधता और प्राकृतिक सौंदर्य के लिए प्रसिद्ध है. यहां प्राकृतिक आपदाओं और प्रदूषण की समस्याओं का भी सामना करना पड़ता है.
- प्रशांत महासागर इतना विशाल है कि यह अकेला ही पृथ्वी की लगभग आधी सतह को कवर करता है.
- इसका विस्तार एशिया के पूर्वी तट से लेकर अमेरिकी महाद्वीप के पश्चिमी तट तक है. इसके अलावा, यह अंटार्कटिका और ऑस्ट्रेलिया तक भी फैला हुआ है.
- इसकी औसत गहराई लगभग 14,040 फीट है. इसका सबसे गहरा स्थान मारियाना ट्रेंच (Mariana Trench) में है, जहां इसकी गहराई 10,994 मीटर (36,070 फीट) तक है.
- प्रशांत महासागर जैविक विविधता से भरपूर है और इसमें लाखों प्रजाति के समुद्री जीव पाए जाते हैं.
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- भारत एक्सप्रेस
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