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CBI ने पहली बार INTERPOL में तैनात किए तीन अधिकारी, अंतरराष्ट्रीय अपराध नियंत्रण में होगा बड़ा बदलाव

CBI का INTERPOL में अधिकारियों की तैनाती का यह कदम भारत के अपराध नियंत्रण और अंतरराष्ट्रीय पुलिस सहयोग के क्षेत्र में एक ऐतिहासिक पहल है.

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CBI - सांकेतिक फोटो

अंतरराष्ट्रीय अपराधों पर शिकंजा कसने और प्रभावी पुलिस सहयोग के लिए, केंद्रीय जांच ब्यूरो (CBI) ने पहली बार INTERPOL (International Criminal Police Organization) में तीन अधिकारियों को तैनात किया है. यह कदम भारत की ओर से अंतरराष्ट्रीय पुलिस सहयोग को मजबूत करने और अपराधों के ट्रैकिंग सिस्टम को तेज़ और प्रभावी बनाने की दिशा में एक बड़ा प्रयास माना जा रहा है.

INTERPOL में भारत की भूमिका बढ़ी

INTERPOL, जो दुनिया के 195 देशों की पुलिस एजेंसियों को जोड़ने वाला सबसे बड़ा संगठन है, का मुख्यालय फ्रांस के लियोन में स्थित है. CBI, भारत में INTERPOL की नेशनल सेंट्रल ब्यूरो (NCB) के रूप में कार्य करती है. अब, भारत ने INTERPOL में अपने तीन अधिकारियों को नियुक्त कर अंतरराष्ट्रीय अपराध जांच और आपराधिक नेटवर्क पर कार्रवाई के लिए अपनी क्षमता को और मजबूत किया है.

किन उद्देश्यों के लिए तैनाती?

इन अधिकारियों की तैनाती का मुख्य उद्देश्य अंतरराष्ट्रीय स्तर पर:
1. अपराधियों की पहचान और ट्रैकिंग – भारत में अपराध करके विदेश भागने वाले और अन्य देशों में छिपे अपराधियों को ढूंढना.
2. डेटा शेयरिंग – सदस्य देशों के साथ अपराध और अपराधियों से जुड़ी सूचनाओं का तेजी से आदान-प्रदान.
3. ऑपरेशन कोआर्डिनेशन – अंतरराष्ट्रीय अपराध गिरोहों पर एकजुट कार्रवाई के लिए सहयोग को बढ़ावा देना.
4. रेड नोटिस जारी करना – भगोड़े अपराधियों को पकड़ने के लिए अधिक प्रभावी तरीके अपनाना.

CBI का यह कदम क्यों महत्वपूर्ण? यह पहली बार है जब CBI ने INTERPOL में इस स्तर पर अपने अधिकारियों को तैनात किया है. इससे पहले, INTERPOL के साथ भारत का सहयोग मुख्य रूप से रेड नोटिस, ग्रीन नोटिस और अन्य अलर्ट जारी करने तक सीमित था. अब, भारत के अधिकारी INTERPOL की रणनीतिक और परिचालन टीम का हिस्सा बनकर अपराध की रोकथाम और कार्रवाई में प्रत्यक्ष भूमिका निभाएंगे.

भारत के लिए क्या फायदे होंगे?

1. अंतरराष्ट्रीय अपराधियों तक पहुंच – यह तैनाती अंतरराष्ट्रीय अपराधियों तक पहुंचने और उन्हें न्याय के कटघरे में लाने के लिए भारत की क्षमता को बढ़ाएगी.
2. भगोड़ों की वापसी – विजय माल्या, नीरव मोदी जैसे आर्थिक अपराधियों के प्रत्यर्पण में तेजी आने की उम्मीद है.
3. साइबर अपराध पर शिकंजा – साइबर अपराध और आतंकवाद जैसे आधुनिक अपराधों पर अंतरराष्ट्रीय सहयोग से तेजी से कार्रवाई होगी.
4. दुनिया में भारत की साख बढ़ेगी – यह कदम भारत की वैश्विक भूमिका और INTERPOL जैसे संगठनों में प्रभाव को मजबूत करेगा.

INTERPOL में भारतीय अधिकारियों की भूमिका

ये अधिकारी INTERPOL की विशेष टीमों का हिस्सा बनेंगे, जिनमें Cyber Crime, Drug Trafficking, Human Trafficking, और Economic Offenses जैसी विशेषज्ञता की आवश्यकता होती है. भारत के अधिकारियों का अनुभव और विशेषज्ञता इन चुनौतियों का मुकाबला करने में अहम साबित होगी.

CBI का INTERPOL में अधिकारियों की तैनाती का यह कदम भारत के अपराध नियंत्रण और अंतरराष्ट्रीय पुलिस सहयोग के क्षेत्र में एक ऐतिहासिक पहल है. यह तैनाती न केवल भारत के लिए, बल्कि वैश्विक पुलिसिंग के लिए भी फायदेमंद साबित होगी.

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भारत की इस पहल को अंतरराष्ट्रीय मंच पर एक मजबूत कदम के रूप में देखा जा रहा है, जो यह दर्शाता है कि भारत अब वैश्विक स्तर पर अपराध नियंत्रण में बड़ी भूमिका निभाने के लिए तैयार है.

-भारत एक्सप्रेस



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